छत्तीसगढ़

धान साफ नहीं था इसलिए खरीदी केंद्रों से वापस भेजे गये किसान
Posted Date : 24-Dec-2018 11:35:47 am

धान साफ नहीं था इसलिए खरीदी केंद्रों से वापस भेजे गये किसान

जगदलपुर, 24 दिसंबर । प्रदेश शासन ने धान खरीदी के लिए कुछ नियम बनाये हैं और किसानों से कहा है कि वे धान खरीदी केंद्रों में साफ सुथरा और 17 फीसदी तक नमी युक्त धान लेकर आये तभी उनका धान खरीदा जायेगा। इस नियम की किसानों को जानकारी न होने से खरीदी केंद्रों में किसानों ने कचरा युक्त धान लाकर बेचने की कोशिश की जिसे खरीदा नहीं गया और उन्हें बिना धान बेचे घर जाना पड़ा। 
जानकारी के अनुसार सरकारी नियमों की अनदेखी कर कई किसान बस्तर में कचरा युक्त धान बेचने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन उनकी यह कोशिश कड़े निर्देशों के कारण सफल नहीं हो पा रही है। 
उल्लेखनीय है कि स्थानीय जिला सहकारी केंद्रीय बैंक से मिली जानकारी के बाद यह तथ्य प्रकाश में आया। इसके अनुसार किसानों को पूर्व से ही साफ धान लाने के लिए कहा गया था लेकिन कई किसान जल्द से जल्द धान बेचने के लिए धान को बिना साफ किए ही उसे बेचने के लिए खरीदी केंद्रों में पहुंच रहे हैं। ऐसे किसानों का धान बिक्री का टोकन निरस्त करते हुए उन्हें फिर से धान साफ कर लाने के लिए कहा गया है। अभी तक ऐसे धान को बिना साफ किए खरीदी केंद्र में एक नवंबर से अब तक 93 किसान पहुंच चुके हैं। साफ धान नहीं होने के सबसे अधिक 49 मामले कांकेर जिले से ही मिले हैं। सुधीर जैन

 पत्रकारों के साथ-साथ डॉक्टरों और वकीलों के लिए भी बनेगा विशेष सुरक्षा कानून
Posted Date : 23-Dec-2018 10:24:44 am

पत्रकारों के साथ-साथ डॉक्टरों और वकीलों के लिए भी बनेगा विशेष सुरक्षा कानून

0-नक्सल समस्या के समाधान के लिए बनेगी नीति, पीडि़त पक्ष से होगी बातचीत 
0-प्रत्येक नक्सल प्रभावित पंचायत को सामुदायिक विकास कार्यों के लिए मिलेंगे एक करोड़ रूपए
0-महिलाओं के खिलाफ  अपराध के मामलों को गंभीरता से लिया जाए 
रायपुर, 23 दिसम्बर । मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पत्रकारों के साथ-साथ वकीलों और डॉक्टरों के संरक्षण के लिए भी गृह विभाग को विशेष सुरक्षा कानून बनाने के निर्देश दिए हैं। उल्लेखनीय है कि उन्होंने जनघोषणा पत्र में भी इसका उल्लेख किया है। मुख्यमंत्री के निर्देश पर मुख्य सचिव अजय सिंह ने आज यहां मंत्रालय में जनघोषणा पत्र के विभिन्न बिन्दुओं के क्रियान्वयन की तैयारी के लिए विभिन्न विभागों के अपर मुख्य सचिवों, प्रमुख सचिवों, सचिवों और स्वतंत्र प्रभार वाले विशेष सचिवों की बैठक ली। बैठक में गृह विभाग से संबंधित बिन्दुओं पर उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री बघेल ने नक्सल समस्या के समाधान के लिए नीति तैयार करने और वार्ता शुरू करने के लिए गंभीरता से प्रयास करने के निर्देश दिए हैं। इसके लिए गृह विभाग आवश्यक तैयारियां जल्द सुनिश्चित करे। उन्होंने कहा -मुख्यमंत्री की मंशा के अनुरूप इस संबध में पीडि़त पक्ष से ही बातचीत होगी ,जिसमें आदिवासी , जंगलों में रह रहे गैरआदिवासी ,व्यापारी, पुलिस , अर्ध सैनिक बलों के जवान ,पत्रकार , सामाजिक संगठन ,स्वयं सेवी संगठन और बुद्धिजीवी शामिल हैं ।  मुख्य सचिव ने  कहा कि मुख्यमंत्री श्री बघेल ने प्रत्येक नक्सल प्रभावित पंचायत को सामुदायिक विकास कार्यों के लिए एक करोड़ रूपए देने का भी जनघोषणा पत्र में वादा किया है, ताकि उन्हें विकास के माध्यम से मुख्य धारा से जोड़ा जा सके। श्री सिंह ने कहा कि जनघोषणा पत्र में मुख्यमंत्री ने गृह विभाग से यह अपेक्षा की है कि महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामलों को गंभीरता से लिया जाए और अपराधियों पर कड़ी कार्रवाई की जाए। प्रत्येक पुलिस थाने में एक महिला प्रकोष्ठ होगा और महिलाओं से संबंधित अपराधों की स्वतंत्र जांच की जाएगी। सार्वजनिक स्थानों और यातायात के साधनों को महिलाओं के अनुकूल और सुरक्षित बनाया जाएगा। मुख्य सचिव ने गृह विभाग के अधिकारियों को इस बिन्दु के क्रियान्वयन के लिए भी त्वरित कार्रवाई के निर्देश दिए। उन्होंने गृह विभाग के अधिकारियों से कहा कि मुख्यमंत्री श्री बघेल द्वारा जनघोषणा पत्र में यह भी वादा किया गया है कि पुलिस कल्याण योजना के तहत पुलिस कर्मियों को साप्ताहिक अवकाश मिलेगा और तृतीय तथा चतुर्थ वर्ग के पुलिस कर्मचारियों के आवास और बच्चों के शिक्षा के लिए पुलिस कल्याण कोष को समय-समय पर शासकीय अनुदान देकर सशक्त बनाया जाएगा। चिटफंड कम्पनियों में निवेश करने वाले निवेशकों का पैसा वापस होगा और धोखाधड़ी करने वाली ऐसी कम्पनियों के खिलाफ  कड़ी कार्रवाई की जाएगी। मुख्य सचिव ने कहा कि गृह विभाग इन सभी बिन्दुओं के क्रियान्वयन के लिए तत्परता से कार्ययोजना तैयार करे। 

राज्य सरकार ने जन घोषणा पत्र के क्रियान्वयन के लिए समस्त विभाग प्रमुखों को दिये निर्देश
Posted Date : 23-Dec-2018 10:15:50 am

राज्य सरकार ने जन घोषणा पत्र के क्रियान्वयन के लिए समस्त विभाग प्रमुखों को दिये निर्देश

0-मुख्य सचिव ने अधिकारियों को दिए विभागवार कार्ययोजना बनाने के निर्देश
रायपुर, 23 दिसम्बर । राज्य सरकार ने जन घोषणा पत्र के विभिन्न बिन्दुओं के क्रियान्वयन के लिए विभागवार लक्ष्य निर्धारित करते हुए सभी विभागों को इन पर अमल के लिए आवश्यक कार्रवाई तत्काल शुरू करने के निर्देश दिए हैं। इस सिलसिले में मुख्य सचिव  अजय सिंह की अध्यक्षता में यहां मंत्रालय में शासन के सभी विभागों के अपर मुख्य सचिवों, प्रमुख सचिवों, सचिवों और स्वतंत्र प्रभार वाले विशेष सचिवों की बैठक हुई, जिसमें मुख्यमंत्री  भूपेश बघेल के निर्देशों का उल्लेख करते हुए मुख्य सचिव ने अधिकारियों से जन घोषणा पत्र के महत्वपूर्ण बिन्दुओं के बारे में जानकारी ली और अधिकारियों को विभागवार कार्ययोजना बनाने के निर्देश दिए।
बैठक में बताया गया कि प्रदेश सरकार के विभिन्न विभागों के लिए अलग-अलग लक्ष्य तय किए गए हैं। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री  भूपेश बघेल ने 17 दिसम्बर को शपथ ग्रहण के तत्काल बाद मंत्रालय (महानदी भवन) पहुंचकर वरिष्ठ अधिकारियों की पहली बैठक में मुख्य सचिव को जन घोषणा पत्र की प्रति सौंपी और उन्हें इस पर विभागवार तैयारी शुरू करने के निर्देश दिए थे। इसी कड़ी में मुख्य सचिव  अजय सिंह ने अधिकारियों की बैठक ली। बैठक में विचार-विमर्श के बाद सभी विभागों को अलग-अलग लक्ष्य दिए गए है, जो इस प्रकार हैं -
सहकारिता विभाग - सरकार बनने के 10 दिनों के भीतर कर्जा माफ करने का लक्ष्य रखा गया है। सोयाबीन की खरीदी न्यूनतम दर 3500 रूपए प्रति क्विंटल तथा चना खरीदी न्यूनतम 4700 रूपए प्रति क्विंटल की दर से की जाएगी। खाद्य विभाग - किसानों को दो वर्ष के धान के बकाया बोनस का भुगतान किश्तों में करने, धान खरीफ की न्यूनतम दर 2500 रूपए प्रति क्विंटल, मक्का खरीदी की न्यूनतम दर 1700 रूपए प्रति क्विंटल तथा जनजातीय क्षेत्रों में रागी, कोदो, कुटकी जैसी कृषि उपजों का न्यूनतम मूल्य तय कर खरीदी करने का लक्ष्य दिया गया है। खाद्य सुरक्षा अधिकार के तहत प्रत्येक परिवार को 35 किलो चावल प्रति माह प्रति किलो एक रूपए की दर से तथा गरीबी रेखा से नीचे जीवन-व्यापन करने वाले परिवारों को नियंत्रित दर पर तेल, दाल, नमक, चीनी तथा केरोसीन उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा गया है।
ऊर्जा विभाग - बिजली बिल आधा करने का लक्ष्य है। कौशल उन्नयन एवं तकनीकी शिक्षा तथा रोजगार विभाग के अंतर्गत घर-घर रोजगार, हर घर रोजगार योजना के तहत छत्तीसगढ़ के युवाओं को राजीव मित्र योजना के तहत रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा। इसके अंतर्गत दस लाख बेरोजगार युवाओं को सामुदायिक विकास और समाजसेवी गतिविधियों में भाग लेने पर न्यूनतम प्रतिमाह 2500 रूपए प्रदान किया जाएगा। स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग - स्वास्थ्य का अधिकार के तहत छत्तीसगढ़ के हर नागरिक को सर्वजन स्वास्थ्य योजना (यूनिवर्सन हेल्थ केयर) से गुणवत्तापूर्ण इलाज की नि:शुल्क सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। यह सुविधा बाह्य रोगी और अस्पताल में भर्ती रोगियों दोनों पर लागू होगी। इसके तहत दवाईयां और जांच की सुविधा नि:शुल्क प्रदान की जाएगी। गंभीर बीमारियों की इलाज के लिए उच्चतम श्रेणी के चिकित्सक नियुक्त किए जाएंगे। आधुनिक चिकित्सा सुविधाओं से युक्त अस्पताल बनाने का लक्ष्य रखा गया है।
स्कूल शिक्षा विभाग - शिक्षा का अधिकार कानून के तहत शिक्षा का अधिकार को पूर्व प्राथमिक (प्री-स्कूल) से कक्षा 12वीं तक लागू करने का लक्ष्य रखा गया है। छात्राओं को नर्सरी से पोस्ट ग्रेजुएट तक नि:शुल्क शिक्षा प्रदान की जाएगी। प्रदेश के सरकारी स्कूलों में 9वीं कक्षा में पहुंचने वाले सभी छात्र-छात्राओं को मुफ्त सायकिल दी जाएगी। कॉलेज और स्कूली छात्र-छात्राओं को मुफ्त सार्वजनिक परिवहन की सुविधा दी जाएगी। शिक्षा कर्मियों को दो वर्ष पूर्ण करने पर नियमित करने का लक्ष्य रखा गया है। नगरीय प्रशासन, राजस्व एवं पंचायत ग्रामीण विकास विभाग - ग्रामीण और शहरी आवास का अधिकार योजना लागू करने का लक्ष्य रखा गया है। इसके तहत आगामी एक वर्ष के भीतर होमस्टेट अधिनियम लाया जाएगा। अधिनियम के तहत प्रत्येक ग्रामीण भूमिहीन पांच सदस्यीय परिवार को घर एवं बाड़ी के लिए जमीन दी जाएगी। शहरी क्षेत्रों में आवासहीन परिवारों को दो कमरों का मकान देने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। सम्पत्ति कर को शहरी क्षेत्रों में न्यूनतम 50 प्रतिशत तक कम किया जाएगा। ग्रामीण क्षेत्रों में सम्पत्ति कर पूर्णत: समाप्त कर दिया जाएगा। कचरा मुक्त शहर बनाने शहरी क्षेत्रों में कचरा निपटारे तथा रि-सायकिलिंग के लिए एसएलआरएन कार्यक्रम को मजबूत बनाने का लक्ष्य रखा गया है।
वन विभाग - वन अधिकार अधिनियम पूर्णत: लागू किया जाएगा। अधिनियम के अंतर्गत वनोपज तथा प्राकृतिक संसाधनों पर अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, पिछड़ा वर्ग और सामान्य वर्ग को व्यक्तिगत अधिकार एवं ग्रामसभा को सामाजिक अधिकार दिए जाएंगे। पांचवी अनुसूची तथा आदिवासी क्षेत्रों के लिए पंचायत अधिनियम (पेसा कानून) पूरी तरह लागू किया जाएगा। गजराज योजना के तहत छत्तीसगढ़ में लेमरू और कोरबा जैसे वन क्षेत्रों में हाथी और वन्यजीव अभ्यारण्य स्थापित किए जाएंगे। मानव-हाथी संघर्षों को कम करने के लिए जंगलों को वाईल्ड लाईफ कॉरीडोर से जोड़ा जाएगा। वनोपज की उचित मूल्य पर खरीदी की जाएगी। तेन्दूपत्ता 4000 रूपए प्रति मानक बोरे के दर पर क्रय किया जाएगा। 75 में से 50 प्रमुख वनोपज उत्पादों का न्यूनतम समर्थन मूल्य पहले वर्ष में बढ़ाया जाएगा और वार्षिक समीक्षा की जाएगी। महिला एवं बाल विकास - राज्य में महिला सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रदेश सरकार पूरी तरह प्रतिबद्ध रहेगी। महिलाओं के संरक्षण के लिए कानून का सख्ती से पालन किया जाएगा। महिला स्व-सहायता समूह का कर्ज माफ किया जाएगा। महिला स्व-सहायता समूहों को धोखा-धड़ी से बचाने एवं उनकी आर्थिक स्थिति सुधारने के लिए सख्त नियम बनाए जाएंगे। आंगनबाडिय़ों में बालवाड़ी प्री-प्रायमरी स्कूल (नर्सरी) शिक्षा की शुरूआत की जाएगी। 

मोदी सरकार में जीएसटी संशोधन भाजपा हार के बाद ही क्यों - कांग्रेस
Posted Date : 23-Dec-2018 10:14:36 am

मोदी सरकार में जीएसटी संशोधन भाजपा हार के बाद ही क्यों - कांग्रेस

रायपुर, 23 दिसंबर ।  केन्द्र सरकार द्वारा जीएसटी में किये गये संशोधन पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुये प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता घनश्याम राजू तिवारी ने कहा कि गुजरात, कर्नाटक चुनाव और अब राजस्थान, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ जैसे बड़े राज्यों में हार का सामना करने के पश्चात जीएसटी में संशोधन इस बात को प्रमाणित करता है कि मोदी सरकार में जीएसटी संशोधन हार के बाद ही किया जाता है, एैसा क्यों, देश प्रदेश की जनता जानना चाहती है? जनविरोधी जीएसटी 1 जुलाई 2017 से केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने भारत देश में लागू किया है। लागू नियमावली में आज तक 357 संशोधन किए जा चुके है, जो इस बात को बल देता है कि जीएसटी आधी अधूरी तैयारियों के साथ देश पर थोपा गया। 
जीएसटी की कल्पना कांग्रेस पार्टी ने अधिकतम 18 प्रतिशत तय कर देश को सब करो से मुक्त कर एक कर की मंशा के साथ मसौदा तैयार किया था, मगर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी की सरकार ने अपनी आधी अधूरी तैयारी के साथ 28 प्रतिशत जीएसटी लागू कर देश की जनता को महंगाई की आग में झोंकने का काम किया है। जिससे देश की जनता की आर्थिक व्यवस्था लडख़ड़ा सी गई है।

डॉ. रमन सिंह द्वारा खींची लकीर कांग्रेसी कहीं पार नहीं कर पाएंगे - भाजपा
Posted Date : 23-Dec-2018 10:13:29 am

डॉ. रमन सिंह द्वारा खींची लकीर कांग्रेसी कहीं पार नहीं कर पाएंगे - भाजपा

रायपुर, 23 दिसंबर । भारतीय जनता पार्टी प्रवक्ता संजय वास्तव ने बताया कि पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह की यात्रा तय नहीं है। नई विधानसभा में सभी विधायकों का शपथ ग्रहण होने का कार्यक्रम  11 जनवरी से तय है उसके बाद ही इस  विषय में कुछ कहना अच्छा होगा।
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि  एक अखबार में यात्रा के विषय में कुछ छपा है लेकिन कांग्रेस पार्टी की प्रतिक्रिया देख स्पष्ट है कि उन्हें डॉ. रमन सिंह की यात्रा से डर लग रहा है। कांग्रेसियों को पता है कि डॉ. रमन सिंह जी ने जो लकीर खींची है उससे आगे कभी बढ़ नहीं सकते। आज भी प्रदेश के सबसे लोकप्रिय और सर्वमान्य नेता रमन सिंह है। कांग्रेस पार्टी सरकार की भूमिका में है लेकिन अपने किए वादों से कांग्रेस पार्टी घबराई हुई है। उन्हें अच्छा से पता है कांग्रेस पार्टी अपने जन घोषणा पत्र को अमल में नहीं ला सकती।
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि कांग्रेस पार्टी झूठे वादे कर सत्ता में काबिज हुए हैं और डॉ. रमन सिंह की यात्रा पर निकलने की खबर से ही कांग्रेस पार्टी हड़बड़ा रही है। उन्होंने कहा कि नई सरकार को काम करने के लिए कुछ समय दिया जाना चाहिए फिर यदि वादे पर अमल नहीं तो भाजपा लोगों के सामने कांग्रेस को बेनकाब करेगी।

 छग में मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर भूपेश बघेल ने की राहुल गांधी से मुलाकात
Posted Date : 23-Dec-2018 10:12:25 am

छग में मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर भूपेश बघेल ने की राहुल गांधी से मुलाकात

0-लंबी चर्चा में मंत्रियों के नाम लगभग तय, देर रात या कल तक नाम की हो सकती है घोषणा
रायपुर, 23 दिसंबर। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल शनिवार की देर शाम को दिल्ली में राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी से मुलाकात की और अपने मंत्रिमंडल के विस्तार को लेकर उनसे लंबी चर्चा की। खबर के अनुसार इस चर्चा में भूपेश बघेल के मंत्रिमंडल में और कौन-कौन से चेहरे शामिल होंगे इस पर लगभग निर्णय ले लिया गया है। हालांकि इसकी घोषणा देर रात या कल तक किये जाने की संभावना है। 
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल अपने मंत्रिमंडल के विस्तार के लिए संभावित नामों की सूची लेकर गुरूवार को शाम की फ्लाइट से दिल्ली गए हुए है। मुख्यमंत्री के अलावा मंत्री टीएस सिंहदेव एवं ताम्रध्वज साहू भी दिल्ली गए हुए है। मुख्यमंत्री दिल्ली पहुंचने के बाद दूसरे दिन शुक्रवार को मंत्रिमंडल के विस्तार के लिए पहले छग के प्रदेश प्रभारी पीएल पुनिया, वरिष्ठ नेता मोतीलाल वोरा एवं राष्ट्रीय अध्यक्ष के सलाहकार कनिष्क सिंह से चर्चा कर उनकी रायशुमारी ले चुके है। वहीं आज शाम को श्री बघेल ने राष्ट्रीय अध्यक्ष से मिलने का समय मिलते ही उनके निवास में जाकर मुलाकात की मंत्रिमंडल के विस्तार के लिए संभावित नामों पर चर्चा की। ऐसी खबर आ रही है कि इस चर्चा में मंडिमंडल में शामिल होने वाले संभावित नामों पर लगभग निर्णय ले लिया गया है। हालांकि इसकी घोषणा समाचार लिखे जाने तक नहीं की गई है। संभावना जतायी जा रही देर रात या कल तक नामों की घोषणा की जा सकती है। जानकारी के अनुसार मुख्यमंत्री भूपेश बघेल आज रात को ही या फिर कल सुबह दिल्ली से रायपुर लौट आएंगे। यह भी संभावना जतायी जा रही है कि मुख्यमंत्री रायपुर लौटने के बाद मंत्रिमंडल मंडल में शामिल होने वाले नामों की घोषणा कर सकते है।