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भारत को कार्बन उत्सर्जन कम करने के लिए 1.5 अरब डॉलर का ऋण देगा विश्व बैंक
Posted Date : 30-Jun-2024 10:54:35 pm

भारत को कार्बन उत्सर्जन कम करने के लिए 1.5 अरब डॉलर का ऋण देगा विश्व बैंक

नई दिल्ली  । विश्व बैंक ने कम कार्बन उत्सर्जन वाले ऊर्जा उत्पादन के विकास में तेजी लाने के लिए दूसरे ऑपरेशन के तहत भारत को 1.5 अरब डॉलर के ऋण को मंजूरी दी है।
विश्व बैंक ने शुक्रवार को वाशिंगटन में बताया कि ‘लो-कार्बन एनर्जी प्रोग्रामेटिक डेवलपमेंट पॉलिसी ऑपरेशन’ का दूसरा चरण ग्रीन हाइड्रोजन और इलेक्ट्रोलाइजर के उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए सुधारों में मददगार होगा, जो ग्रीन हाइड्रोजन उत्पादन के लिए आवश्यक महत्वपूर्ण तकनीक है।
यह ऑपरेशन सरकार की ऊर्जा सुरक्षा और विश्व बैंक की हाइड्रोजन फॉर डेवलपमेंट (एच4डी) भागीदारी के अनुरूप है।
विश्व बैंक के अनुसार, सुधारों के परिणामस्वरूप वित्त वर्ष 2025-26 से प्रति वर्ष कम से कम 4,50,000 टन ग्रीन हाइड्रोजन और 1,500 मेगावाट इलेक्ट्रोलाइजर का उत्पादन होने की उम्मीद है।
इसके अलावा, यह अक्षय ऊर्जा क्षमता को बढ़ाने और कार्बन उत्सर्जन में प्रति वर्ष पांच करोड़ टन कमी लाने में भी महत्वपूर्ण रूप से मदद करेगा।
यह ऑपरेशन राष्ट्रीय कार्बन क्रेडिट बाजार को और विकसित करने के कदमों का भी समर्थन करेगा।
भारत में विश्व बैंक के निदेशक ऑगस्त तानो कुआमे ने कहा, विश्व बैंक को भारत की लो-कार्बन विकास रणनीति का समर्थन जारी रखने की प्रसन्नता है, जो देश के शुद्ध-शून्य लक्ष्य को प्राप्त करने में मदद करेगा और निजी क्षेत्र में स्वच्छ ऊर्जा के क्षेत्र में नौकरियां पैदा करेगा।
कुआमे ने कहा, पहले और दूसरे, दोनों ऑपरेशनों में ग्रीन हाइड्रोजन और नवीकरणीय ऊर्जा में निजी निवेश को बढ़ावा देने पर ज़ोर दिया गया है।
भारतीय अर्थव्यवस्था के तेज़ी से बढऩे की उम्मीद है। विश्व बैंक के अनुसार, आर्थिक विकास के साथ उत्सर्जन वृद्धि पर लगाम लगाने के लिए नवीकरणीय ऊर्जा को बढ़ाना होगा, ख़ास तौर पर औद्योगिक क्षेत्रों में।
ऑपरेशन के लिए टीम लीडर की भूमिका निभा रहे ऑरेलियन क्रूस, शियाओडोंग वांग और सुरभि गोयल ने कहा, भारत ने ग्रीन हाइड्रोजन के लिए घरेलू बाज़ार विकसित करने के लिए साहसिक कदम उठाए हैं, जो तेज़ी से विस्तारित नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता पर आधारित है।
विश्व बैंक ने जून 2023 में 1.5 अरब डॉलर के पहले ऑपरेशन को मंज़ूरी दी थी, जिसमें ग्रीन हाइड्रोजन परियोजनाओं में नवीकरणीय ऊर्जा के लिए ट्रांसमिशन शुल्क की छूट, सालाना 50 गीगावाट नवीकरणीय ऊर्जा निविदाएं शुरू करने के लिए एक स्पष्ट राह तैयार करना और राष्ट्रीय कार्बन क्रेडिट बाजार के लिए एक कानूनी ढांचा बनाना शामिल है।

 

 

पीएमआई डाटा, बजट और टेलीकॉम कंपनियों पर होगी इस सप्ताह निवेशकों की नजर
Posted Date : 30-Jun-2024 10:53:43 pm

पीएमआई डाटा, बजट और टेलीकॉम कंपनियों पर होगी इस सप्ताह निवेशकों की नजर

मुंबई  ।  भारतीय शेयर बाजार के लिए पिछला सप्ताह तेजी वाला रहा। सेंसेक्स और निफ्टी दोनों में करीब दो-दो प्रतिशत उछाल दर्ज किया गया। बाजार में लगातार चौथे सप्ताह तेजी रही। बैंकिंग शेयरों में पिछले सप्ताह जोरदार उछाल देखने को मिला। निफ्टी बैंक सूचकांक में एक प्रतिशत से ज्यादा की बढ़त दर्ज की गई।
इस सप्ताह बाजार की दिशा कई घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय कारकों पर निर्भर करेगी। इसमें भारत और अमेरिका के विनिर्माण और सेवा क्षेत्र के पीएमआई आंकड़े शामिल हैं।
इसके अलावा आगामी बजट से जुड़े अपटेड और भारतीय ऑटोमोबाइल कंपनियों की ओर से जारी किए जाने वाले मासिक बिक्री के आंकड़ों पर भी निवेशकों की निगाहें होंगी।
बाजार के जानकारों का कहना है कि इस सप्ताह बाजार की नजर सीमेंट और टेलीकॉम सेक्टरों की कंपनियों पर हो सकती है। अल्ट्राटेक की ओर से इंडिया सीमेंट में नॉन-कंट्रोलिंग हिस्सेदारी हासिल करने के कारण सीमेंट सेक्टर में कंसोलिडेशन देखने को मिल सकता है। वहीं, सभी टेलीकॉम कंपनियों की ओर से टैरिफ में इजाफा किया गया है। इसका असर इन कंपनियों के मुनाफे में पर भी पड़ेगा। इस वजह से बाजार का फोकस इन कंपनियों पर होगा।
मास्टर कैपिटल सर्विसेज लिमिटेड के वरिष्ठ उपाध्यक्ष, अरविंदर सिंह नंदा का कहना है कि चार्ट पर निफ्टी बुलिश लग रहा है। अगर निफ्टी 24,200 अंक के स्तर को पार कर टिकता है तो यह 24,500 अंक और फिर 24,700 अंक के स्तर तक जा सकता है। अगर यह 24,000 अंक के नीचे उतरता है तो फिर 23,800 अंक, 23,600 अंक और फिर 23,400 अंक के स्तर तक भी लुढक़ सकता है। हमें उम्मीद है कि इस सप्ताह निफ्टी 24,600 अंक से 23,600 अंक की रेंज में रह सकता है।

 

रियल टाइम डेटा एनालिसिस के लिए आरबीआई कर रहा एआई का इस्तेमाल : शक्तिकांत दास
Posted Date : 29-Jun-2024 10:34:18 pm

रियल टाइम डेटा एनालिसिस के लिए आरबीआई कर रहा एआई का इस्तेमाल : शक्तिकांत दास

मुंबई। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) की ओर से हाई फ्रीक्वेंसी और रियल टाइम डेटा की मॉनिटरिंग के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) और मशीन लर्निंग (एमएल) का उपयोग किया जा रहा है। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
आरबीआई की 18वें सांख्यिकी दिवस कॉन्फ्रेंस के उद्घाटन पर लोगों को संबोधित करते हुए दास ने कहा कि एआई और एमएल के जरिए क्षमताओं को बढ़ाने और इस पर फोकस किया जा रहा है। अनस्ट्रक्चर्ड डेटा को एनालिसिस करने पर जोर है। हालांकि, ऐसा करते समय नैतिकताओं का ध्यान रखना चाहिए और एल्गोरिदम में पूर्वाग्रह को दूर करना चाहिए।
एनुअल इवेंट के दौरान उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया में आधिकारिक सांख्यिकी के लिए 2025 काफी महत्वपूर्ण होने वाला है। व्यापक आर्थिक आंकड़ों के संकलन के लिए (विशेष रूप से राष्ट्रीय खातों और भुगतान संतुलन के लिए) नए वैश्विक मानकों के रूप में वैश्विक प्रयास एक नए आयाम पर जाने की उम्मीद की जा रही है।
प्रोफेसर प्रशांत चंद्र महालनोबिस के जन्मदिवस के अवसर पर सांख्यिकी दिवस मनाया जाता है। भारत में आधुनिक आधिकारिक सांख्यिकी स्थापित करने में उनकी अहम भूमिका है।
आरबीआई गवर्नर ने आगे कहा कि रिजर्व बैंक का कटिंग एज इंफॉर्मेशन मैनेजमेंट जनता के लिए नीतियां बनाने और देश के आर्थिक विकास में बड़ी भूमिका निभा रहा है। आज से एक साल पहले हमने अगली पीढ़ी की केंद्रीकृत सूचना प्रबंधन प्रणाली (सीआईएमएस) लॉन्च किया था। इसमें कई नए फीचर्स शामिल किए गए थे। कमर्शियल बैंक, शहरी को -ऑपरेटिव बैंक और गैर-वित्त कंपनियां इस नए पोर्टल को अपना चुके हैं।
दास ने कहा कि नए सीआईएमएस में भारतीय अर्थव्यवस्था पर रिसर्च करने की सुविधा है। इसके साथ ही यह रिपोर्टिंग के बोझ को कम करता है। इसके अलावा बेहतर टेक्नोलॉजी के कारण डेटा उपलब्ध करने वालों और यूजर्स दोनों का अनुभव अच्छा है।

 

इमर्जिंग मार्केट्स बॉन्ड इंडेक्स में आज शामिल होगा भारत, अर्थव्यवस्था पर होगा सकारात्मक असर
Posted Date : 29-Jun-2024 10:33:57 pm

इमर्जिंग मार्केट्स बॉन्ड इंडेक्स में आज शामिल होगा भारत, अर्थव्यवस्था पर होगा सकारात्मक असर

मुंबई। भारतीय बॉन्ड या सरकारी बॉन्ड को शुक्रवार से जेपी मॉर्गन इमर्जिंग मार्केट्स बॉन्ड इंडेक्स में शामिल किया जाएगा। इस इंडेक्स में भारतीय बॉन्ड का शामिल होना काफी अहम माना जा रहा है। पहली बार इस इंडेक्स में भारतीय बॉन्ड शामिल होंगे और इसे पूरी दुनिया में ट्रैक किया जाता है।
जेपी मॉर्गन इमर्जिंग मार्केट्स बॉन्ड इंडेक्स में भारतीय बॉन्ड का वेटेज 10 प्रतिशत होगा। भारत के सरकारी बॉन्ड के वेटेज को धीरे-धीरे चरणबद्ध तरीके से 28 जून, 2024 से लेकर 31 मार्च, 2025 तक यानी 10 महीने में एक-एक प्रतिशत कर इस इंडेक्स में बढ़ाया जाएगा। एचएसबीसी होल्डिंग्स के मुताबिक, गवर्नमेंट बॉन्ड इंडेक्स-इमर्जिंग मार्केट्स (जीबीआई -ईएम) में शामिल होने से भारत में 30 अरब डॉलर का फंड इनफ्लो देखने को मिल सकता है।
जेपी मॉर्गन की ओर से सितंबर 2023 में भारतीय बॉन्ड्स को जीबीआई-ईएम में शामिल करने का ऐलान किया गया था, तब से लेकर अब तक 10 अरब डॉलर से ज्यादा का इनफ्लो भारतीय बॉन्ड में आ चुका है। जीबीआई-ईएम में शामिल होने से भारतीय अर्थव्यवस्था पर कई सकारात्मक प्रभाव होंगे। गवर्नमेंट बॉन्ड इंडेक्स-इमर्जिंग मार्केट्स में शामिल होने से विदेशी निवेश में तेजी आएगी। विदेशी निवेश आने से भारत के सरकारी बॉन्ड की मांग बढ़ेगी। इससे भारतीय बॉन्ड मार्केट का आकार बढ़ेगा। साथ ही लिक्विडिटी और एफिशिएंसी में भी इजाफा होगा।
अब तक केवल बैंक, इंश्योरेंस कंपनियां और म्यूचुअल फंड ही सरकारी बॉन्ड में बड़े निवेशक रहे हैं। ऐसे में ग्लोबल इंडेक्स में शामिल होने पर बड़ी मात्रा में ग्लोबल फंड भारत आएगा। इससे बॉन्ड यील्ड कम होगी। इससे सरकार के लिए कर्ज की लागत भी कम हो जाएगी। इससे राजकोषीय घाटा कम होने की उम्मीद है। वहीं, विदेशी निवेश आने से रुपये की मांग बढ़ेगी और ऐसे में आने वाले समय में रुपया मजबूत रह सकता है।

 

मई में देश के आठ प्रमुख उद्योगों में 6.3 प्रतिशत की वृद्धि
Posted Date : 29-Jun-2024 10:33:41 pm

मई में देश के आठ प्रमुख उद्योगों में 6.3 प्रतिशत की वृद्धि

नई दिल्ली। वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय द्वारा शुक्रवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, कोयला, सीमेंट, इस्पात और बिजली जैसे आठ प्रमुख उद्योगों ने इस साल मई में पिछले साल के इसी महीने की तुलना में 6.3 प्रतिशत अधिक की वृद्धि दर्ज की है।
पिछले साल के मुकाबले इस साल मई में बिजली उत्पादन में 12.8 प्रतिशत की वृद्धि हुई।
मई में कोयला उत्पादन में भी 10.2 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई। इस्पात उत्पादन में भी 7.6 प्रतिशत की वृद्धि हुई।
इस साल मई में प्राकृतिक गैस उत्पादन में भी पिछले साल मई की तुलना में 7.5 प्रतिशत की वृद्धि हुई। इससेे देश को परिवहन क्षेत्र और घरेलू रसोई में हरित ईंधन का अधिक उपयोग करने में मदद मिली।
इसी प्रकार पेट्रोलियम रिफाइनरी उत्पादन में पिछले साल की मई की तुलना में इस साल मई में 0.5 प्रतिशत की वृद्धि हुई।
हालांकि, उर्वरक उत्पादन में 1.7 प्रतिशत की गिरावट आई।
आंकड़ों के मुताबिक अप्रैल से मई, 2024-25 के दौरान आठ प्रमुख उद्योगों की कुल वृद्धि दर पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 6.5 प्रतिशत अधिक रही है।
ये प्रमुख उद्योग औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) में शामिल वस्तुओं के भार का 40.27 प्रतिशत हिस्सा है।
वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय ने यह भी कहा कि इस साल फरवरी के लिए आठ प्रमुख उद्योगों के सूचकांक की वृद्धि दर को संशोधित कर 7.1 प्रतिशत कर दिया गया है।
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रिलायंस जियो ने यूजर्स को दिया झटका, महंगे किए टैरिफ प्लान, 3 जुलाई दिन से होंगे लागू
Posted Date : 28-Jun-2024 7:50:50 am

रिलायंस जियो ने यूजर्स को दिया झटका, महंगे किए टैरिफ प्लान, 3 जुलाई दिन से होंगे लागू

मुंबई । टेलीकॉम कंपनी रिलायंस जियो ने अपने प्रीपेड टैरिफ प्लान की कीमतें बढ़ाने का ऐलान कर दिया है। जानकारी के अनुसार कंपनी का बेस प्लान जो पहले 155 रुपये का था, जो बढक़र 189 रुपये का हो जाएगा।
जियो ने टैरिफ में करीब 22 प्रतिशत वृद्धि की है। रिलायंस जियो में अपने 19 प्लान की कीमतें बढ़ाई हैं, जिसमें 17 प्रीपेड और 2 पोस्टपेड़ हैं। यह पहली बार है जब जियो ने एयरटेल से पहले टैरिफ में वृद्धि की है। जो प्लान 209 रुपये का है, जिसकी कीमत अब बढक़र 249 रुपये हो गई है। इन प्लान की डेटा बेनफिट में कोई भी बदलाव नहीं हुए हैं। इसके साथ ही 239 प्लान जो अनलिमिडेट 5जी डेटा ऑफर करता है उसकी कीमत बढ़ाकर 299 रुपये कर दी गई है। नए प्लान 3 जुलाई से शुरू होंगे।
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