नई दिल्ली । केंद्र सरकार की ओर से दीपावली से पहले देशवासियों को बड़ी सौगत दी गई है। सरकार ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत दिए जाने वाले लोन की सीमा को बढ़ाकर दोगुना कर दिया गया है। अब इस योजना में व्यापार करने के लिए 20 लाख रुपये तक का लोन ले सकते हैं। पहले यह लिमिट 10 लाख थी।
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की ओर से आम बजट 2024-25 में पीएम मुद्रा योजना में दिए जाने वाले लोन की सीमा को 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 20 लाख रुपये करने का ऐलान किया गया था।
सरकार द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक, इस योजना में अब एक नई कैटेगरी ‘तरुण प्लस’ को जोड़ा गया है, जिसमें छोटे व्यापारी 20 लाख रुपये तक के लोन के लिए आवेदन कर सकते हैं।
इससे पहले इस योजना में तीन कैटेगरी थी, जिसमें शिशु के तहत 50,000 रुपये तक, किशोर में 5 लाख रुपये तक और तरुण में 10 लाख रुपये का लोन दिया जाता है।
इस कदम के जरिए सरकार की कोशिश छोटे व्यापारियों को बढ़ावा देना है, जिससे कि वे आसानी से कारोबार के लिए लोन ले सकें। इससे नए रोजगार के अवसर पैदा होंगे और लोगों को अपना कारोबार खोलने का अवसर भी मिलेगा और देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने में मदद मिलेगी।
ऐसे लोग जो कारोबार शुरू करना चाहते हैं या फिर अपने छोटे कारोबार को बढ़ाना चाहते हैं। उन लोगों के लिए प्रधानमंत्री मुद्रा योजना एक अच्छा विकल्प है। मुद्रा लोन की खास बात यह है कि इस पर ब्याज दरें काफी कम होती हैं और लोन की लिए आपको किसी गारंटर की आवश्यकता नहीं होती, क्योंकि सरकार यहां पर गारंटर होती है।
आप अपने किसी नदजीकी बैंक शाखा या फिर ऑनलाइन माध्यम से पीएम मुद्रा लोन के लिए आवेदन कर सकते हैं।
नई दिल्ली । स्टॉक मार्केट के निवेशक इन दिनों डरे हुए हैं। बाजार में उथल-पुथल हावी है और बड़ा करेक्शन देखने को मिल रहा है। इससे निवेशकों को भारी नुकसान हो रहा है। ऐसे में अगर आप कम जोखिम में एक अच्छा रिटर्न चाहते हैं तो आपके लिए मल्टीकैप फंड एक बेहतर साधन हो सकता है। यह एक ऐसी स्कीम होती है जो सभी मार्केट कैप लार्जकैप, मिडकैप और स्मॉलकैप में निवेश करती है। बाजार की गिरावट में जहां लार्ज कैप शेयर सुरक्षा प्रदान करते हैं वहीं मिड और स्मॉल कैप शेयर फायदा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। कोई भी एक मार्केट कैप लगातार बेहतर प्रदर्शन नहीं कर सकता है। इसलिए निवेशकों को एसेट अलोकेशन के तहत सभी मार्केट कैप में निवेश करना चाहिए। क्यों मल्टीकैप फंड में निवेश फायदे का सौदा
सालाना आधार पर 2023 में निफ्टी 100 टीआरआई का रिटर्न 21 फीसदी रहा है जबकि निफ्टी मिडकैप 150 टीआरआई का रिटर्न 45 फीसदी रहा है। निफ्टी स्मॉलकैप 250 टीआरआी का रिटर्न 49 पर्सेंट रहा है। सभी मार्केटकैप में निवेश का फायदा यह होता है कि जोखिम और रिटर्न एक बाजार पूंजीकरण में केंद्रित होने के बजाय पूरे बाजार पूंजीकरण में डायवर्सिफाइड होते हैं। मल्टीकैप में जिन चार फंडों ने पिछले एक साल में अच्छा रिटर्न दिया है उनमें एक्सिस के मल्टीकैप ने सर्वाधिक 56.02 फीसदी रिटर्न दिया है। कोटक मल्टीकैप की स्कीम 52.83त्न, एचएसबीसी की स्कीम ने 51.90त्न और एलआईसी मल्टीकैप की स्कीम ने 51.37त्न का रिटर्न दिया है। इन फंडों में अगर किसी ने एक साल पहले एक लाख रुपये का निवेश किया तो वह रकम अब 1.56 लाख रुपये हो गई है।
लार्जकैप, मिडकैप और स्मॉलकैप का संगम
मल्टीकैप में एक जाना माना नाम एक्सिस म्यूचुअल फंड है। इस फंड ने अपनी स्थापना से लेकर अब तक निवेशकों को लगातार बेहतर फायदा दिया है। लार्जकैप बड़ी कंपनियों में निवेश करता है। मिडकैप मिडकैप कंपनियों के अवसरों को पकड़ता है। स्मॉलकैप उभरते हुए अवसरों में निवेश करता है, जहां छोटी कंपनियां आने वाले समय में बड़ी बनने की क्षमता रखती हैं मल्टीकैप फंड लार्जकैप, मिडकैप,स्मॉलकैप और डायनॉमिक में 25-25 फीसदी का निवेश करता है। अगर एक्सिस म्यूचुअल फंड के मल्टीकैप की बात करें तो इसने सर्वाधिक निवेश फाइनेंशिय सर्विस, ऑटोमोबाइल और उसके कलपुर्जे, कैपिटल गुड्स, हेल्थकेयर , आईटी, रियल्टी और कंज्यूमर ड्यूरेबल में किया है। यह सभी ऐसे सेक्टर हैं जो बाजार के हर माहौल में निवेशकों को सुरक्षा देने के साथ साथ उनके निवेश पर अच्छा रिटर्न देते हैं।
मुंबई । भारतीय शेयर बाजार के लिए बीता हफ्ता मुश्किलों भरा रहा। बीएसई के सेंसेक्स और एनएसई के निफ्टी दोनों ही सूचकांक में भारी गिरावट दर्ज की गई। प्रमुख सूचकांक निफ्टी और सेंसेक्स में क्रमश: 2.7 प्रतिशत और 2.2 प्रतिशत गिरावट दर्ज की गई।
आने वाले समय में घरेलू आर्थिक स्थितियां बाजार के पक्ष में दिख रही हैं। मार्केट विशेषज्ञों के अनुसार, हाल ही में जारी मजबूत क्रय प्रबंधक सूचकांक (पीएमआई) डेटा और भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) द्वारा वित्त वर्ष 25 के लिए मजबूत आर्थिक वृद्धि पूर्वानुमान के साथ आंकड़े बड़े पैमाने पर बाजार के पक्ष में हैं।
भारत के विनिर्माण उद्योग ने अक्टूबर में वृद्धि की गति फिर से हासिल कर ली है और इस तेजी को फैक्ट्री उत्पादन और सेवा गतिविधियों में तेज वृद्धि से समर्थन मिला है। एसएंडपी ग्लोबल द्वारा नवीनतम एचएसबीसी ‘फ्लैश’ पीएमआई सर्वेक्षण के अनुसार, भारत की निजी क्षेत्र की अर्थव्यवस्था ने अक्टूबर में मजबूत वृद्धि जारी रखी।
बीता हफ्ता निवेशकों और व्यापारियों के लिए चुनौतीपूर्ण रहा, क्योंकि बाजार में व्यापक स्तर पर बिकवाली देखी गई। निफ्टी 2.65 प्रतिशत से अधिक की गिरावट के साथ 24,200 से नीचे बंद हुआ।
एंजेल वन के इक्विटी तकनीकी विश्लेषक राजेश भोसले ने कहा, अक्टूबर खास तौर पर मुश्किल रहा है, अब तक बेंचमार्क में 6 प्रतिशत से अधिक की गिरावट आई है। सबसे ज्यादा नुकसान व्यक्तिगत शेयरों को हुआ है, खास तौर पर मिड-कैप सेगमेंट को, जिसमें पिछले कुछ हफ्तों में भारी गिरावट आई है।
बीते हफ्ते का फोकस मिड-कैप में भारी गिरावट पर रहा है, लेकिन त्योहारी सीजन के साथ कुछ चुनिंदा सकारात्मक रुझान सामने आने की उम्मीद कर सकते हैं।
विशेषज्ञों की सलाह है कि लंबी अवधि के नजरिए वाले निवेशक इन स्तरों से गुणवत्ता वाले शेयरों की खरीद पर विचार कर सकते हैं।
वर्तमान भू-राजनीतिक तनाव और एफआईआई की भारी बिकवाली के कारण निवेशकों की निराशा के कारण भी धारणा प्रभावित हुई। बाजार विशेषज्ञों का कहना है कि एफआईआई की ओर से लगातार बिकवाली और घरेलू बाजार में सकारात्मक संकेतों की कमी से बाजार की निकट अवधि की धारणा प्रभावित हो सकती है।
हालांकि, निवेशकों को गुणवत्ता वाले स्टॉक जमा करने के लिए प्रोत्साहित होना चाहिए क्योंकि हाल ही के विनिर्माण डेटा के लचीलेपन से वित्त वर्ष 2025 की दूसरी छमाही में आर्थिक सुधार की संभावना नजर आती है।
विशेषज्ञों ने कहा, मूल्यांकन में नरमी, वित्त वर्ष 2025 की दूसरी छमाही में आय में उछाल और 2025 में आरबीआई द्वारा ब्याज दरों में कटौती की उम्मीद से बाजार को समर्थन मिलेगा। जिन क्षेत्रों पर नजर रखने की जरूरत है, उनमें खपत, एफएमसीजी, बुनियादी ढांचा, नई पीढ़ी की कंपनियां, विनिर्माण और रसायन शामिल हैं।
बीते कारोबारी दिन सेंसेक्स कारोबार के अंत में 662.87 अंक या 0.83 प्रतिशत गिरने के बाद 79,402.29 पर बंद हुआ। वहीं, निफ्टी 218.60 अंक या 0.9 प्रतिशत गिरने के बाद 24,180.80 पर आ गया।
सैन फ्रांसिस्को। चैटजीपीटी बनाने वाली कंपनी ओपनएआई इस साल दिसंबर में अपना नया एआई मॉडल ‘ओरियन’ लॉन्च करने की योजना बना रही है, जो जीपीटी-4 से 100 गुना अधिक ताकतवर हो सकता है।
एक रिपोर्ट के मुताबिक, पिछली बार की तरह ओपनएआई इस मॉडल को तुरंत चैटजीपीटी के जरिए सभी के लिए उपलब्ध नहीं करेगी। पहले इसे कुछ कंपनियों को एक्सेस देने की योजना है, ताकि वे अपने प्रोडक्ट और सुविधाएं विकसित कर सकें।
माइक्रोसॉफ्ट भी इस मॉडल को नवंबर में अपने क्लाउड प्लेटफ़ॉर्म पर लाने की तैयारी कर रहा है।
ओपनएआई का लक्ष्य है कि अपने सभी भाषा मॉडल्स को मिलाकर एक ऐसा सुपर एआई बनाए, जिसे आर्टिफिशियल जनरल इंटेलिजेंस (एजीआई) कहा जा सके।
ओरियन की लॉन्चिंग ओपनएआई के लिए महत्वपूर्ण है, क्योंकि हाल ही में कंपनी ने 6.6 बिलियन डॉलर की फंडिंग प्राप्त की है और इसका वैल्यूएशन 157 बिलियन डॉलर हो गया है। साथ ही, ओपनएआई अब मुनाफा कमाने वाली कंपनी के रूप में ढल रही है।
पिछले महीने ओपनएआई के तीन मुख्य अधिकारी, जिनमें सीटीओ मीरा मुराती भी शामिल हैं, कंपनी छोड़ चुके हैं। 2015 में ओपनएआई की स्थापना में मदद करने वाले 13 लोगों में से अब केवल तीन ही कंपनी में बचे हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, मुराती अब अपने खुद के एआई स्टार्टअप के लिए फंड जुटा रही हैं।
ओपनएआई में नई फंडिंग का नेतृत्व पिछले निवेशक थ्राइव कैपिटल ने किया था। वीसी फर्म ने लगभग 1.3 बिलियन डॉलर का निवेश किया। माइक्रोसॉफ्ट ने कथित तौर पर 1 बिलियन डॉलर से थोड़ा कम निवेश किया, जबकि एनवीडिया ने 100 मिलियन डॉलर और सॉफ्टबैंक ने कथित तौर पर 500 मिलियन डॉलर का निवेश किया।
ओपनएआई ने कहा कि यह नई फंडिंग उन्हें अपने एआई रिसर्च में अग्रणी बने रहने, कंप्यूटिंग क्षमता बढ़ाने और लोगों के कठिन समस्याओं के हल के लिए नए टूल्स बनाने में मदद करेगी।
नईदिल्ली। जोमैटो के स्वामित्व वाली क्विक कॉमर्स प्लेटफॉर्म ब्लिंकिट ने अपने ग्राहकों के लिए ईएमआई की सुविधा शुरू की है।ब्लिंकिट में मिलने वाली इस नई सुविधा के बारे में ब्लिंकिट के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अलबिंदर ढींडसा सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट में दी है।ढींडसा ने कहा कि यह पहल ग्राहकों को समय के साथ भुगतान करने और खर्चों को प्रबंधित करने में मदद करने के लिए डिजाइन की गई है।
ब्लिंकिट पर ईएमआई फीचर का लाभ 2,999 रुपये से अधिक के सभी ऑर्डर पर लागू होगा। हालांकि, सोने और चांदी के सिक्कों को इस फीचर का उपयोग करके नहीं खरीदा जा सकेगा।ढींडसा ने कहा है कि इससे ग्राहकों को बेहतर वित्तीय योजना बनाने में मदद मिलेगी। यह कदम उस समय उठाया गया है जब क्विक-कॉमर्स प्लेटफॉर्म सस्ती सेवाएं देकर ग्राहकों को बनाए रखने की कोशिश कर रहे हैं।इस फीचर से ब्लिंकिट की तरफ अधिक ग्राहक आकर्षित होंगे।