नई दिल्ली ,16 नवंबर। खाद्य,आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री रामविलास पासवान ने गुरुवार को कहा है कि केन्द्र जल्दी ही उद्योगों के लिए सोने के आभूषणों और गिन्नी पर अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप हॉलमार्किंग को अनिवार्य बनाएगा। पासवान ने यहां भारतीय मानक ब्यूरो के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि देश में सोने के आभूषणों पर हालमार्किंग का काम शुरू किया गया है लेकिन सरकार इसे उद्योगों के लिए सोने के आभूषणों पर अनिवार्य बनाना चाहती है।
पासवान ने कहा कि सरकारें आती-जाती रहती है लेकिन संस्थायें बनी रहती हैं। सरकार नियम-कानून बनाती हैं लेकिन उसे लागू करने का काम भारतीय मानक ब्यूरो जैसी संस्थान करती हैं। सरकारें बदलती रहती है लेकिन संस्थायें बनी रहती है और उसे अपना काम करते रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि दुनिया चौथी औद्योगिक क्रांति की ओर बढ़ रही है और ऐसे में भारत को पुरानी तकनीकों को त्याग कर नयी प्रौद्योगिकी को अपनाना चाहिए जिससे वह अंतरराष्ट्रीय गुणवत्ता एवं मानक के अनुरुप वस्तुओं को उपलब्ध करा सके।
उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन सरकार के दौरान पुराने मानक ब्यूरो कानूनो में बदलाव के लिए अनेक निर्णय किये गये हैं ताकि उसे अंतरराष्ट्रीय मानक के अनुरुप बनाया जा सके। देश किसी चुनौती का सामना करने को तैयार है और वह इसका नेतृत्व भी कर सकता है। उन्होंने कहा कि उद्योग प्रतियोगी मानक अपना सकते हैं लेकिन इस मानक को रेहड़ी पटरी वालों के लिए नहीं लागू किया जा सकता है। हालांकि उन्हें खानपान में स्वच्छता और गुणवत्ता का ध्यान रखना चाहिए।
देश में गरीबी को कम करने और विकास का फायदा गरीबों तक पहुंचाने के लिये उच्च आर्थिक वृद्धि हासिल करना जरूरी है। वित्त मंत्री अरुण जेतली ने बचत एवं खुदरा बैंकों के 25वें विश्व सम्मेलन को संबोधित करते हुये कहा कि विकास की बाट जोह रहा कोई समाज जीवन की गुणवत्ता में सुधार और विकास का फल गरीबों तक पहुंचाने के लिए अनिश्चितकाल तक प्रतीक्षा नहीं कर सकता है।
जल्द दिखेगा आर्थिक वृद्धि का प्रभाव
वित्त मंत्री ने कहा कि भारत जैसी अर्थव्यवस्थाओं के लिए उच्च आर्थिक वृद्धि दर आवश्यक है। हम उच्च आर्थिक वृद्धि के जरिए ज्यादा से ज्यादा लोगों को गरीबी के गर्त से उबारना और उनका जीवन सुधारना चाहते हैं। लेकिन हम विकास और प्रगति का फायदा कुछ लोगों तक सीमित रह जाने और बाकी के उससे वंचित होने के जोखिम को लेकर भी सजग है। उन्होंने कहा कि आर्थिक वृद्धि का प्रभाव निश्चित रूप से दिखेगा लेकिन यह एक धीमी प्रक्रिया है और विकास की बाट जोह रहा समाज अनिश्चितकाल तक इसका इंतजार नहीं कर सकता है।
सरकार का उद्देश्य लोगों को बैंक से जोडऩा
जेतली ने नरेंद्र मोदी सरकार में चलाये गये वित्तीय समावेश अभियान पर बोलते हुये कहा कि हमारा उद्देश्य बैंकिंग सेवाओं से नहीं जुड़े लोगों को बैंक से जोडऩा, असुरक्षित लोगों को सुरक्षित करना और पूंजीहीन लोगों को वित्त पोषित करना और जिन क्षेत्रों में सेवाएं नहीं थी, वहां सेवाएं पहुंचाना है। उन्होंने कहा कि भारत में अब भी अधिकांश लोगों के पास बीमा और पेंशन की सुरक्षा नहीं है। जन धन योजना खातों के माध्यम से सामाजिक सुरक्षा प्रणाली के तहत सस्ती प्रीमियम पर लोगों के लिये बीमा की पेशकश की गयी है। कुल 14.1 करोड़ लोगों का दुर्घटना बीमा किया गया है जबकि 5.5 करोड़ लोगों को जीवन बीमा दिया गया है।
मुंबई जगुआर लैंड रोवर इंडिया ने लगातार तीसरे साल ब्रिटेन में आयोजित जगुआर लैंड रोवर एव्रीडे लिजेंड ग्लोबल टेक्निशियन एंड एप्रेंटिस टेक्निशियन ऑफ द ईयर 2018 में तीन पुरस्कार जीते हैं। इन तीन पुरस्कारों में ग्लोबल टेक्निशियन ऑफ द ईयर 2018 “ओवरऑल विनर” का शीर्ष सम्मान, लैंड रोवर ग्लोबल टेक्निशियन 2018 और “टॉप स्कोरिंग मार्केट” शामिल हैं।ब्रिटेन आयोजित इस प्रतियोगिता में 26 देश शामिल थे। जगुआर रोवर के ग्लोबल रिटेलर नेटवर्क से लगभग 16000 सर्विस तकनीशियनों ने इन प्रतिष्ठित पुरस्कारों के लिए मुकाबला में हिस्सा लिया। जगुआर लैंड रोवर इंडिया के कोच्चि रिटेलर मुथूट मोटर्स के सजीश कुमार कलूरपलाट को ग्लोबल टेक्निशियन ऑफ द ईयर 2018 “ओवरऑल विनर” जबकि जगुआर लैंड रोवर इंडिया के मुंबई रिटेलर नवनीत मोटर्स, मुंबई को “लैंड रोवर ग्लेबल टेक्निशियन ऑफ द ईयर 2018” घोषित किया गया। इसके अलावा, जगुआर लैंड रोवर इंडिया ने टॉप स्कोरिंग मार्केट के लिए भी पुरस्कार जीता, कंपनी ने लगातार दूसरी बार यह सम्मान हासिल किया है।जगुआर लैंड रोवर इंडिया लिमिटेड (जेएलआरआइएल) के प्रेसिडेंट एवं प्रबंध निदेशक रोहित सूरी के मुताबिक प्रतियोगिता में “बेस्ट ऑफ द बेस्ट” के साथ मुकाबला करने के लिए भारतीय परिचालन टीम की क्षमता और फिर उनका शीर्ष स्थान पर आना हमारे लिए गौरव की बात है। हम टीम के समर्पण और गंभीरता का जश्न मनाते हैं। इतने उच्च सम्मान भारत लेकर आए हैं। उच्चतम मानदंडों के लिए कर्मचारियों का प्रशिक्षण भारत में जगुआर लैंड रोवर के प्रयासों की नींव रही है। यह सम्मान जगुआर ग्राहकों को सर्वोच्च गुणवत्ता की आफ्टर-सेल्स सेवा प्रदान करने के लिए जेएलआर की निरंतर प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
नई दिल्ली देश का औद्योगिक उत्पादन की वृद्धि दर सितंबर में घटकर 4.5 फीसदी रही है, जबकि अगस्त में यह 4.66 फीसदी पर थी।आधिकारिक आंकड़े सोमवार को जारी किए गए। सांख्यिकी और कार्यक्रम क्रियान्वयन मंत्रालय के आंकड़ों से पता चलता है कि साल 2017 के सितंबर में औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) की वृद्धि दर 4.1 फीसदी थी।मंत्रालय द्वारा जारी आईआईपी के ‘तुरंत अनुमान’ में बताया गया, “साल 2018 की अप्रैल-सितंबर अवधि के दौरान संचयी वृद्धि दर पिछले साल की समान अवधि की तुलना में 5.1 फीसदी रही है।”साल-दर-साल आधार पर विनिर्माण क्षेत्र के उत्पादन में अच्छी वृद्धि हुई, जिसकी वृद्धि दर 4.6 फीसदी रही, जबकि खनन उत्पादन में मामूली वृद्धि हुई, जोकि 0.2 फीसदी पर रही। और उप-सूचकांक के बिजली उत्पादन की वृद्धि दर बढ़कर 8.2 फीसदी रही।
सूचना-प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने बताया कि इस साल अगस्त में भारत में 244.81 करोड़ डिजिटल लेनदेन हुए। उसने कहा है कि यह आंकड़ा अक्टूबर, 2016 से अब तक डिजिटल लेनदेन में तीन गुना से अधिक की वृद्धि को दिखाता है।इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना-प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने एक बयान जारी कर कहा कि नए भुगतान माध्यम-भीम यूपीआई, आधार आधारित भुगतान प्रणाली (एईपीएस) और राष्ट्रीय इलेक्ट्रॉनिक टोल संग्रह (एनईटीसी) ने व्यक्ति से व्यक्ति एवं व्यक्ति से कंपनी के बीच भुगतान को बढ़ावा देकर डिजिटल भुगतान के तंत्र को पूरी तरह बदल दिया है।उसने कहा है कि आंकड़ों पर गौर किया जाए तो पता चलता है कि अक्टूबर, 2016 में 79.67 करोड़ डिजिटल लेनदेन हुए थे। अगस्त, 2018 में यह आंकड़ा 207 प्रतिशत बढ़कर 244.81 करोड़ तक पहुंच गया। अगस्त, 2018 में कुल 204.86 लाख करोड़ रुपए मूल्य के डिजिटल लेनदेन हुए। यह 88 प्रतिशत की वृद्धि को दिखाता है।बयान में कहा गया है कि पिछले दो साल में भारत में डिजिटल भुगतान लेनदेन में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। सरकार ने सिस्टम में से काले धन को खत्म करने के लिए 8 नवंबर, 2016 को पुराने 500 और 1000 रुपए के नोटों को प्रतिबंधित कर दिया था। इस कदम से भुगतान के ऑनलाइन माध्यम को अपनाने में बड़ी मदद मिली है।नए भुगतान मंच की उच्च वृद्धि को दिखाते हुए मंत्रालय ने कहा है कि अक्टूबर 2016 में भीम-यूपीआई पर लेनदेन 1.03 लाख थे, जिनका मूल्य 48 करोड़ रुपए थ। अक्टूबर 2018 में यह संख्या बढ़कर 48.2 करोड़ हो गई, जिसका मूल्य 74,978.2 करोड़ रुपए था। अक्टूबर 2016 में आधार आधारित भुगतान सर्विस पर लेनदेन की संख्या 2.57 करोड़ और मूल्य 221 करोड़ रुपए था, जो अक्टूबर 2018 में बढ़कर क्रमश: 15.07 करोड़ और 5,893 करोड़ रुपए हो गया।
मुंबई वाणिज्यिक वाहनों के बेहतर प्रदर्शन के दम पर देश की सबसे बड़ी वाहन निर्माता कंपनी टाटा मोटर्स की कुल घरेलू बिक्री अक्टूबर में 18 प्रतिशत बढकर 57,710 इकाई पर पहुंच गई। गत वर्ष के समान माह में कंपनी ने 48,886 वाहन बेचे थे। कंपनी द्बारा जारी बिक्री के आंकड़ों के मुताबिक बीएस4 उत्पादों के बेहतर प्रदर्शन से उसके व्यावसायिक वाहनों की घरेलू बिक्री 22 फीसदी बढकर 39,420 इकाई हो गई। आधारभूत ढांचा विकास जैसे किफायती आवास और सिंचाई परियोजनाओं के निर्माण पर सरकार के जोर देने और बीएस4 रेंज के सिग्ना और प्राइमा ट्रकों के शानदार प्रदर्शन से मध्यम एवं भारी ट्रकों की बिक्री भी 16 फीसदी बढकर 13,185 इकाई हो गई। ई कॉमर्स क्षेत्र की मांग बढने, ग्रामीण इलाकों में खपत तेज होने और नए उत्पादों के बल पर हल्के ट्रकों की बिक्री में 29 प्रतिशत की तेजी रही और यह आंकड़ा बढकर 4,841 इकाई हो गया। हाल में लांच अल्ट्रा ट्रकों का प्रदर्शन भी अच्छा रहा है।आलोच्य माह में कार्गो और पिकअप श्रेणी के वाहनों की बिक्री में भी 30 प्रतिशत की बढत दर्ज की गई है। कंपनी ने गत माह इस श्रेणी के 18,209 वाहन बेचे। वाणिज्यिक यात्री वाहनों की बिक्री भी छह प्रतिशत बढकर 4,619 इकाई हो गई। राज्य परिवहन निगम की ओर से मांग कम आने से कंपनी के वाणिज्यिक यात्री वाहनों की घरेलू बिक्री दो फीसदी की बढत के साथ 3,185 इकाई रही। नेपाल और बंगलादेश में मांग आने से कंपनी का कुल निर्यात भी अक्टूबर 2018 में छह प्रतिशत बढकर 4,311 इकाई से 4,554 इकाई पर पहुंच गया।