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घरेलू रसोई गैस सिलेंडर 100.50 रुपये हुआ सस्ता
Posted Date : 01-Jul-2019 12:59:13 pm

घरेलू रसोई गैस सिलेंडर 100.50 रुपये हुआ सस्ता

नईदिल्ली,01 जुलाई । बिना सब्सिडी वाले घरेलू एलपीजी सिलेंडर का दाम 100.50 रुपये प्रति सिलिंडर घट गया है। एक जुलाई से दिल्ली में घरेलू इस्तेमाल का सिलिंडर 637 रुपये में उपलब्ध होगा। तेल कंपनियों ने यह जानकारी दी है। बिना सब्सिडी वाले घरेलू सिलिंडर के बाजार मूल्य में कमी आने के साथ ही सब्सिडीयुक्त घरेलू सिलिंडर के लिये भी रिफिल लेते समय 100.50 रुपये कम देने होंगे। सब्सिडीयुक्त सिलिंडर के घरेलू उपभोक्ताओं को एक जुलाई से रिफिल प्राप्त होने पर 737.50 रुपये के बजाय 637 रुपये का भुगतान करना होगा। 
सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी इंडियन ऑइल कॉर्पोरेशन की रविवार को जारी रिलीज में यह जानकारी दी गई है। इसमें कहा गया है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में दाम घटने और डॉलर-रुपया विनिमय दर में आए बदलाव के प्रभाव स्वरूप एलपीजी सिलिंडर (14.2 किलो) के दाम में कमी आई है। नई दर एक जुलाई से प्रभावी होगी। सब्सिडीयुक्त रसोई गैस सिलिंडर के लिये उपभोक्ताओं को रिफिल लेते समय बाजार मूल्य पर भुगतान करना होता है। 
उसके बाद सब्सिडी राशि उपभोक्ता के बैंक खाते में डाल दी जाती है। उपभोक्ताओं को एक साल में 12 सिलिंडर सब्सिडी पर मिलते हैं। एलपीजी सिलिंडर के मूल्य में आई ताजा गिरावट के बाद उपभोक्ता को 142.65 रुपये प्रति सिलिंडर की सब्सिडी राशि मिलने पर जुलाई 2019 में सिलिंडर की प्रभावी दर 494.35 रुपये बैठेगी।

जीएसटी में और सुधार की जरूरत : उद्योग जगत
Posted Date : 30-Jun-2019 1:07:41 pm

जीएसटी में और सुधार की जरूरत : उद्योग जगत

नईदिल्ली,30 जून। उद्योग जगत ने वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) लागू होने की दूसरी वर्षगाँठ पर सरकार को बधाई देते हुये इसे सरल बनाने की दिशा में जीएसटी परिषद् के काम की सराहना की है तथा कहा है कि अब ‘जीएसटी 2.0’ की ओर बढ़ते हुये इसमें स्लैबों की संख्या कम की जाये, पेट्रोलियम, रियल इस्टेट और बिजली को शामिल किया जाये तथा ‘एक देश, एक पंजीकरण’ की व्यवस्था हो।
देश में नयी अप्रत्यक्ष कर प्रणाली जीएसटी 01 जुलाई 2017 को लागू की गयी थी। इसमें कर के चार स्लैब पाँच प्रतिशत, 12 प्रतिशत, 18 प्रतिशत और 28 प्रतिशत तय किये गये हैं। भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के अध्यक्ष विक्रम किर्लोस्कर ने कहा हम जीएसटी को सफलतापूर्वक लागू करने तथा महज दो साल में इसे स्थिरता प्रदान करने के लिए जीएसटी परिषद् और केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड की प्रशंसा करते हैं। ...जीएसटी परिषद् उद्योग जगत के समक्ष आने वाले हर मुद्दे को स्वयं पहल कर हल कर रही है। जीएसटी 2.0 भारतीय अर्थव्यवस्था को विकास के अगले स्तर पर ले जायेगा।
उद्योग संगठन फिक्की के अध्यक्ष संदीप सोमानी ने भी परिषद् के काम की तारीफ करते हुये कहा, जीएसटी परिषद् एवं कर प्रशासकों ने पिछले दो साल में इसे लगातार सरल बनाने, करों की दरों को तर्कसंगत करने और कर आधार बढ़ाने के लिए जिस तरह से काम किया है वह प्रशंसनीय है। अब हमें जीएसटी ढाँचे के निहित उद्देश्य की ओर बढऩे की जरूरत है जिससे सही मायने में देश में कारोबार करना आसान हो सके। 
दोनों संगठनों ने कर के स्लैबों की संख्या घटाने की माँग की है। फिक्की ने इसे चार से घटाकर तीन करने की माँग की है। सीआईआई ने भी स्लैबों की संख्या चार से घटाकर दो-तीन करने की माँग की है और कहा है कि 28 प्रतिशत का स्लैब सिर्फ स्वास्थ्य के लिए नुकसानदेह वस्तुओं के लिए रखा जाना चाहिये। 

लगातार चौथे दिन बढ़े पेट्रोल, डीजल के दाम
Posted Date : 30-Jun-2019 1:07:22 pm

लगातार चौथे दिन बढ़े पेट्रोल, डीजल के दाम

नईदिल्ली,30 जून। अंतर्राष्ट्रीय बाजार में पिछले दिनों कच्चे तेल में आई तेजी के बाद देश में पेट्रोल और डीजल के दाम में फिर रोजाना वृद्धि होने लगी है। तेल कंपनियों ने लगातार चौथे दिन रविवार को तेल के दाम में वृद्धि जारी रखी। दिल्ली, कोलकाता, मुंबई और चेन्नई में पेट्रोल फिर नौ पैसे प्रति लीटर महंगा हो गया है और डीजल के भाव में दिल्ली, कोलकाता और मुंबई में आठ पैसे जबकि चेन्नई में नौ पैसे प्रति लीटर का इजाफा हुआ है।
देश की राजधानी दिल्ली में चार दिनों में पेट्रोल 32 पैसे प्रति लीटर महंगा हो गया है और डीजल का दाम भी इन तीन दिनों में 29 पैसे प्रति लीटर बढ़ गया है। इंडियन ऑयल की बेवसाइट के अनुसार, दिल्ली, कोलकता, मुंबई और चेन्नई में रविवार को पेट्रोल के दाम बढक़र क्रमश: 70.37 रुपये, 72.63 रुपये, 76.06 रुपये और 73.10 रुपये प्रति लीटर हो गए। चारों महानगरों में डीजल के दाम भी बढक़र क्रमश: 64.19 रुपये, 66.11 रुपये, 67.30 रुपये और 67.90 रुपये प्रति लीटर हो गए हैं। पिछले दिनों अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल का दाम बढऩे के कारण पेट्रोल और डीजल के भाव बढ़ रहे हैं क्योंकि भारत अपनी तेल की जरूरतों का तकरीबन 84 फीसदी हिस्सा आयात करता है। लिहाजा, अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चा तेल महंगा होता है तो भारत में पेट्रोल और डीजल समेत तमाम पेट्रोलियम उत्पाद महंगे हो जाते हैं।
अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के भाव में हालांकि बीते सप्ताह के आखिरी सत्र में नरमी दर्ज की गई, मगर उससे पहले जबरदस्त तेजी देखने को मिली, जिससे सप्ताह के दौरान ब्रेंट क्रूड में तीन फीसदी से ज्यादा का उछाल आया। बेंचमार्क कच्चा तेल ब्रेंट क्रूड का भाव जून के पहले पखवाड़े में 60-63 डॉलर प्रति बैरल के सीमित दायरे में रहा, लेकिन दूसरे पखवाड़े में भाव 67 डॉलर प्रति बैरल के करीब पहुंच गया। ब्रेंट क्रूड का भाव 60.25 डॉलर से लेकर 66.85 डॉलर प्रति बैरल के बीच रहा। ऊर्जा विशेषज्ञ बताते हैं कि पेट्रोल और डीजल के दाम में अभी और वृद्धि देखने को मिल सकती है क्योंकि खाड़ी क्षेत्र में जारी तनाव और अमेरिका-चीन व्यापारिक तनाव कम होने से आगे कच्चे तेल के भाव में फिर तेजी आने की संभावना है।

हुआवेई पर लगा बैन हटा, दो साल में इतने अरब डॉलर का हुआ नुकसान
Posted Date : 30-Jun-2019 1:07:03 pm

हुआवेई पर लगा बैन हटा, दो साल में इतने अरब डॉलर का हुआ नुकसान

ओसाका ,30 जून। चीनी कंपनी हुआवेई के लिए राहत भरी खबर है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हुआवेई पर लगा बैन हटा दिया है। चीनी कंपनी को बड़ी राहत प्रदान करते हुए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने शनिवार को कहा कि अमेरिकी कंपनियां चीन की दूरसंचार उपकरण बनाने वाली कंपनी (हुआवेई) को प्रौद्योगिकी बेचना शुरू कर सकती हैं। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि प्रौद्योगिकी की यह बिक्री ऐसे उपकरण के लिए न हो जिससे राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा हो।
अमेरिकी प्रतिबंध के कारण हुआवेई को दो साल में तकरीबन 30 अरब डॉलर का नुकसान हुआ है। साउथ चाइना मॉर्निग पोस्ट के अनुसार, ट्रंप ने कहा कि वाणिज्य विभाग की कंपनियों की सूची से हुआवेई को हटाने पर फैसला बाद में लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि वह इस विषय पर अगले सप्ताह बैठक करेंगे। ट्रंप ने ओसाका में जी-20 शिखर सम्मेलन के बाद एक प्रेसवार्ता के दौरान कहा, हम हुआवेई पर फैसला आखिर के लिए छोड़ रहे हैं। हम देख रहे हैं कि व्यापार करार में क्या होता है। उन्होंने कहा कि हुआवेई पर पूर्ण प्रतिबंध हटाने का फैसला व्यापार युद्ध समाप्त करने की दिशा में करार पर निर्भर करेगा। प्रेसवार्ता में कथिततौर पर ट्रंप ने कहा कि चीन और अमेरिका रणनीतिक साझेदार हो सकते हैं।
इससे पहले ट्रंप और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग शिखर सम्मेलन के मौके पर व्यापार वार्ता दोबारा शुरू करने पर सहमति जताई। साथ ही, ट्रंप ने चीनी वस्तुओं पर आगे अमेरिका द्वारा नया शुल्क लगाए जाने के प्रस्ताव को स्थगित कर दिया। ट्रंप और जिनपिंग के बीच बनी सहमति के अनुसार, चीन से आयातित 300 अरब मूल्य की वस्तुओं पर अमेरिका फिलवक्त नया शुल्क नहीं लगाएगा। ट्रंप ने 15 मई को हुआवेई को राष्ट्रीय सुरक्षा आदेश के जरिए काली सूची में डाल दी थी। अमेरिका ने सार्वजनिक तौर पर अपने सहयोगी देशों से सुरक्षा को लेकर हुआवेई के उत्पाद का इस्तेमाल से बचने को कहा था। अमेरिका ने चिंता जाहिर की थी कि कंपनी के उपकरण का इस्तेमाल चीन की सरकार निजी सूचना प्राप्त करने के लिए कर सकती है। 

ग्राहकी सुस्ती से सोना-चांदी में गिरावट
Posted Date : 30-Jun-2019 1:06:46 pm

ग्राहकी सुस्ती से सोना-चांदी में गिरावट

इंदौर,30 जून । सप्ताहांत सोना तथा चांदी में ग्राहकी कमजोर होने से हाजिर भाव नरमी लिए बताए गए। बीते सप्ताह में सोना 125 रुपये नीचा बिका। चांदी के भाव में 550 रुपये प्रति किलोग्राम की गिरावट दर्ज की गई। कारोबार की शुरुआत में सोना 34850 रुपये पर खुलने के बाद शनिवार को 34725 रुपये प्रति दस ग्राम होकर थमा। चांदी में कारोबार की शुरुआत 38675 रुपये पर हुई वहीं अंतिम दिन चांदी में सौदे 38125 रुपये प्रति किलो के स्तर पर हुए।
व्यापारियों के अनुसार सप्ताहांत रुपये में बढ़त से सोना महंगा बिका। व्यापार में सोना ऊंचे में 35300 नीचे में 34600 रुपये प्रति 10 ग्राम बिका। व्यापार में चांदी ऊपर में 38900 तथा नीचे में 38075 रुपये प्रति किलोग्राम बिकी। चांदी सिक्का 625 रुपये प्रति नग की मजबूती लिए रहा। विदेशी बाजार में सोना 1409.50 डॉलर तथा चांदी 15. 31 सेन्ट प्रति औंस बिकी।

ओपेक की कच्चा तेल उत्पादन कटौती को आगे जारी रखने पर रूस, सउदी अरब सहमत
Posted Date : 29-Jun-2019 11:47:46 am

ओपेक की कच्चा तेल उत्पादन कटौती को आगे जारी रखने पर रूस, सउदी अरब सहमत

ओसाका,29 जून । रूस और सउदी अरब कच्चे तेल की अधिक वैश्विक आपूर्ति के बीच उत्पादन कम रखने पर सहमत हुए हैं। रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन ने शनिवार को यह जानकारी दी। पुतिन ने जी20 शिखर सम्मेलन के बाद यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘हम, रूस और सउदी अरब, सौदे को आगे बढ़ाएंगे। कितने समय तक? हम इसके बारे में सोचेंगे। यह छह महीने या नौ महीने के लिये होगा। संभव है कि यह नौ महीने हो सकता है।’’ पेट्रोलियम उत्पादों का निर्यात करने वाले देशों के समूह ओपेक ने पिछले साल दिसंबर में कच्चा तेल का दैनिक उत्पादन 12 लाख बैरल तक कम करने का विकल्प चुना था। सउदी अरब ओपेक का सबसे मुख्य सदस्य है। ओपेक की मंगलवार को वियना में उच्चस्तरीय बैठक होने वाली है।