धर्मशाला: पुलिस थाना धर्मशाला में एक नाबालिग लड़के ने अपने पिता के खिलाफ अश्लील हरकतें करने का आरोप लगाया है। इस पर कार्रवाई करते हुए सदर पुलिस थाना धर्मशाला में आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज करके आगामी कार्रवाई अमल में लाई जा रही है। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार पुलिस थाना धर्मशाला में क्षेत्र के एक 15 वर्षीय लड़के ने शनिवार को थाने में आकर शिकायत दर्ज करवाई कि उसका पिता उसके साथ अश्लील हरकतें करता है। बहरहाल मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए पुलिस ने उक्त कार्रवाई अमल में लाई है। मामले की पुष्टि करते हुए सदर पुलिस थाना धर्मशाला सुनील राणा ने बताया कि शिकायत मिलने पर पोक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज करके जांच अमल में लाई जा रही है।
चंडीगढ़ : पंजाब में अब गाय को लेकर राजनीति तेज हो गई है. कैप्टन सरकार ने यहां कीगौशालाओं को मिल रही मुफ्त बिजली की आपूर्ति को रोक दिया है. केंद्रीय मंत्री एवं बीजेपी नेता विजय साम्पला ने पंजाब सरकार पर आरोप लगाया है कि उसने गौशालाओं के लिए मुफ्त बिजली योजना बंद कर दी है. साम्पला ने कहा कि पंजाब सरकार ने गाय उपकर के माध्यम से 50 करोड़ रुपये जुटाए हैं, फिर भी राज्य में गौशालाओं को मुफ्त बिजली नहीं मिल रही है और पंजाब विद्युत कारपोरेशन लिमिटेड (पीएसपीसीएल) ने आपूर्ति बंद कर दी है. इस योजना की शुरूआत पूववर्ती अकाली-बीजेपी गठबंधन सरकार ने की थी.
विजय साम्पला ने कहा कि पीएसपीसीएल 2017 से ही गौशालाओं को बिजली का बिल अबतक भेज रही है, यह निंदनीय है.
साम्पला ने प्रदेश के बिजली मंत्री गुरप्रीत सिंह कांगर से पूछा कि बिजली बिल पर गाय उपकर वसूलने के बावजूद प्रदेश में पंजीकृत 472 गौशालाओं को 5.32 करोड़ रुपये का बिल क्यों भेजा जा रहा है. उन्होंने कहा कि राज्य के नीति के अनुसार बिल माफ किए जाने चाहिए.
बता दें कि राज्य में गौशालाओं को पहले सप्लाई की गई मुफ्त बिजली के बिल वसूलने के आदेश जारी हो गए हैं. पंजाब राज्य बिजली निगम लिमिटेड (पावरकॉम) की तरफ से राज्य भर में भेजे गए पत्र के मुताबिक पावरकॉम की तरफ से 28 मार्च, 2016 को जारी किए गए कॉमर्शियल सर्कुलर के अनुसार रजिस्टर्ड गौशालाओं को मुफ्त बिजली प्रदान की जानी थी परंतु इस पर 8 मई, 2017 को रोक लगा दी गई थी क्योंकि सरकार की तरफ से इस मामले में सब्सिडी का नोटीफिकेशन जारी नहीं किया गया और न ही बजट में इसकी व्यवस्था की गई थी.
नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली के उद्योग नगर ऐरिया में शनिवार को एक कारखाने में आग लग गई। कारखाने की लगी आग से लाखों रुपए कीमत का सामान जलकर खाक हो गया। आग की सूचना मिलते ही मौके पर दमकल विभाग की कई गाड़िया पहुंच गई, लेकिन आग का विकराल रुप देखकर प्रशासन को और गाड़ियां आग बुझाने के लिए बुलानी पड़ी।
पुलिस के मुताबिक, जिस फैक्ट्री में आग लगी है वहां पर रबर का सामान बनाया जाता है। अचानक शाम 5 बजे के आसपास फैक्टी में आग लग गई। अचनाक लगी आग से इलाके में हड़कंप मच गया। सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची फायर बिग्रेड की गाड़ियों ने आग बुझाना शुरू किया लेकिन आग लगातार तेज होती जा रही थी। जिसके बाद और दमकल की गाड़ियों को बुलाना पड़ा।
पुलिस के मुताबिक इस हादसे में किसी के भी घायल होने की खबर नहीं है। बताया जा रहा है कि आग बिजली के शॉर्ट सर्किट की वजह से लगी है। लेकिन पुलिस आग लगने के कारणों का पता लगा रही है।
गरियाबंद. उदंती सीतानदी अभयारण्य के घने जंगलों में मौजूद ग्राम अमाड़ में एक युवक-युवती की फांसी पर लटकी लाशें बरामद हुई हैं. युवक के जेब से एक सुसाइड नोट भी बरामद हुआ है. मामला प्रेम प्रसंग से जुड़ा बताया जा रहा है. पुलिस मामले की जांच कर रही है.
जानकारी के मुताबिक युवक – युवती की पहचान अमाड़ गांव के 22 वर्षीय हरेन्द्र नेताम और 20 वर्षीय सांता नेताम के रूप में हुई है. दोनों कल देर शाम से ही घर से गायब थे. सुबह गांव के लोगों ने इनकी फांसी पर लटकती लाश देखी. जिसके बाद तत्काल पुलिस को इसकी सूचना दी गई.
पुलिस को मौके पर युवक के जेब से एक सुसाइड नोट भी बरामद हुआ है. लेकिन पुलिस ने इसका खुलासा नहीं किया है कि उस सुसाइड नोट में क्या लिखा गया है. फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुट गई है.बताया जा रहा है कि दोनों एक दूसरे को बेइंतिहा मोहब्बत करते थे. दोनों ने अपने-अपने परिजन को इसकी जानकारी भी दे दी थी. लेकिन इनके बीच समान गोत्र ने लकीर खीच दी. जिस कारण से शादी नहीं हो पा रही थी. माना जा रहा है कि इसी वजह से दोनों ने ये आत्मघाती कदम उठा लिया.
ओपेक (पेट्रोलियम निर्यातक देशों का संगठन) ने शुक्रवार को कच्चे तेल के उत्पादन में बढ़ोतरी करने का फैसला किया है। ये देश जुलाई महीने से तेल उत्पादन में इजाफा करेंगे। ईरान ओपेक देशों के इस फैसले के खिलाफ था, जिसे सऊदी अरब में बाद में मना लिया और ईरान भी तेल उत्पादन में बढ़ोतरी के लिए सहमत हो गया। कच्चे तेल की बढ़ती कीमत पर लगाम लगाने और आपूर्ति को सुचारू रूप से चलाने के लिए उपभोक्ता देशों ने ओपेक देशों पर तेल उत्पादन बढ़ाने के लिए दबाव बनाया था। इसके बाद यह फैसला लिया गया है।
ओपेक से जुड़े दो सूत्रों ने बताया कि फैसला यह हुआ है कि ओपेक और रूस के नेतृत्व वाले साथी देश एक मिलियन बैरल प्रतिदिन कच्चे तेल के उत्पादन में इजाफा किया जाएगा। तेल उत्पादन में जो बढ़ोतरी की जा रही है, वह पूरे विश्व की आपूर्ति का एक फीसदी है। बता दें, ओपेक देशों के इस फैसला का असर पेट्रोल और डीजल की कीमतों पर पड़ेगा। इस फैसले के बाद पेट्रोल और डीजल की कीमत में कमी देखने को मिल सकती है।
ट्रेड वारः भारत ने US को दिया जवाब, 29 उत्पादों पर बढ़ाया आयात शुल्क
वियना में चल रही उत्पादक देशों के संगठन ओपेक की बैठक में सऊदी अरब ने कच्चे तेल का उत्पादन रोजाना दस लाख बैरल बढ़ाने का प्रस्ताव रखा था। तेल आपूर्ति बढ़ाने का विरोध कर रहे ईरान को भी सऊदी अरब ने बैठक से कुछ देर पहले मना लिया। अमेरिका, चीन और भारत ने तेल उत्पादक देशों पर कच्चे तेल की सप्लाई बढा़ने के लिए दबाव बनाया था। इन देशों का कहना था कि तेल की कमी की वजह से वैश्विक अर्थव्यवस्था पर असर पड़ता है।
सऊदी अरब और रूस तेल उत्पादन बढ़ाने को लेकर पहले से तैयार थे, लेकिन ईरान ने इस फैसले की आलोचना की थी। ईरान इस फैसले के खिलाफ अमेरिका की वजह से था, अमेरिका ने ईरान पर निर्यात से संबंधित कई रोक लगा रखी है। ईरान ओपेक देशों में तीसरा सबसे बड़ा तेल उत्पादक देश है। ईरान ने मांग की थी कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की तेल सप्लाई बढ़ाने की मांग को खारिज किया जाए। ईरान ने कहा था कि अमेरिका ने ईरान और वेनेजुएला पर रोक लगाकर तेल की कीमतों में इजाफा करने में भूमिका निभाई है।
सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस जे. चेलमेश्वर आज रिटायर हो गए. उन्होंने बार और बेंच में 42 साल तक काम किया. रिटायर होने के बाद जस्टिस चेलमेश्वर ने इंडिया टुडे को खास इंटरव्यू दिया, जिसमें कई मुद्दों पर खुल कर बात की. इंटरव्यू की शुरुआत में ही उन्होंने कहा कि उन्हें अपने 42 साल के करियर में कोई पछतावा नहीं है. साथ ही जब उनसे पूछा गया कि क्या संस्था की विश्वसनीयता संकट में हो सकती है तो उन्होंने कहा, ‘कभी-कभी हो सकती है.’ बता दें, जस्टिस जे. चेलमेश्वर चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया दीपक मिश्रा के खिलाफ बगावत करते हुए प्रेस कॉन्फ्रेंस करने वाले चार न्यायाधीशों में शामिल थे. सुप्रीम कोर्ट के जजों की प्रेस कॉन्फ्रेंस पर जस्टिस चेलमेश्वर ने कहा, 12 जनवरी प्रेस कॉन्फ्रेंस में जो हुआ वो वास्तव में अभूतपूर्व था. अभूतपूर्व घटनाओं के अभूतपूर्व परिणाम होते हैं. चेलमेश्वर ने कहा कि वह सिस्टम से लड़ रहे थे और न्यायपालिका के साथ समस्याएं बनी हुई.
‘जो पावर में हैं वो किससे और क्यों मिल रहे?’
जस्टिस जोसेफ बहुत अच्छे जज: जस्टिस चेलमेश्वर
उत्तराखंड के चीफ जस्टिस केएम जोसेफ की पदोन्नति का जस्टिस चेलमेश्वर खुल का समर्थन किया. उन्होंने कहा, जस्टिस जोसेफ बहुत अच्छे जज हैं. ये बात मैंने 2 साल पहले कही थी. मेरा मानना है कि कोलेजियम को उनके नाम की सिफारिश फिर से करनी चाहिए. इसके साथ ही उन्होंने अगले सीजेआई के तौर पर न्यायमूर्ति रंजन गोगोई के नाम का समर्थन किया.