0 मारे गये नक्सलियों की संख्या 200 से अधिक - डांगी
जगदलपुर, 03 दिसंबर । छत्तीसगढ़ के बस्तर में माओवादी प्रवक्ता गणेश उईके ने स्वीकारा है कि इस वर्ष उनके 65 लड़ाके मुठभेड़ में मारे गए हैं। इधर पुलिस अधिकारियों ने इन आंकड़ों का खंडन करने हुए 200 से अधिक नक्सलियों के मारे जाने का दावा किया है।
जारी विज्ञप्ति में दक्षिण सब जोनल ब्यूरो भारत की कम्युनिस्ट पार्टी माओवादी प्रवक्ता गणेश उईके ने 2 से 8 दिसंबर तक पीएलजीए की स्थापना दिवस जोश खरोश से मनाने की अपील भी की है। जारी विज्ञप्ति के माध्यम से बताया है कि केंद्रीय कमेटी व पोलित ब्यूरो सदस्य अरविंद की गंभीर बीमारी के बाद 65 साल की उम्र में मौत हो गयी है। इसके अलावा तेलंगाना बॉर्डर तजपाल प्रभाकर सहित दरभा डिविजनल के पाली, सीनू, नंदू, साईनाथ, लता, कैलाश मीना, रोशनी, सहित 10 नक्सली मुठभेड़ में मारे गए हैं। इस तरह सितंबर 2017 से 2018 के बीच उनके 65 लड़ाके ढेर हुए हैं। मारे गए इन नक्सलियों में आयाम क्रांति, डोडी, बुधराम ओयाम, रुकनी, जैनी, ओयाम कामा, हिरदो भिमाल, वजाम हिड़मे, इसके अलावा सोढ़ी सीताल, सोढ़ी लखपाल, उइके माढ़ा, नुप्पो मुत्तल, दरभा डिविजनल के उधम सिंह, मरकाम सुकराम, ज्योति सहित अन्य नक्सली मारे गए हैं।
गणेश उइके ने साल भर में मारे गए सभी नक्सलियों को शहीद करार दिया है। प्रेस विज्ञप्ति में कई फर्जी मुठभेड़ फोर्स के द्वारा किए जाने की बात लिखी है। मुठभेड़ों का जिक्र करते प्रवक्ता ने आइपेंटा में 8,तिम्मेदम मुठभेड़ में 8 और सानपुर मुठभेड़ में 40 नक्सलियों के मारे जाने की बात कबूल की है, साथ ही नुलकातोंग में 15 आम ग्रामीणों को फोर्स द्वारा मारे जाने का आरोप लगाया है।
200 से अधिक नक्सली मारे गये- डांगी
डीआईजी रतन लाल डांगी ने गणेश उइके के दिये आकड़ों को झूठा करार देते बताया की एक साल में लगभग 200 नक्सली मारे गये हंैं, उनमें से 125 शवों को बरामद किया गया है। उन्होंने कहा है की कई नक्सलियों के शवों को वो ले जाने में कामयाब हो जाते हैं और दफना देते है, जिसका हिसाब नहीं है, पर इन एक साल में नक्सलियों को भारी नुकसान हुआ है और आगे भी होगा, बस्तर में जल्द नक्सलवाद का खात्मा होगा।
0-नेट स्पीड होगी तेज
नईदिल्ली ,03 दिसंबर । इसरो द्वारा बनाए ‘सबसे अधिक वजनी’ उपग्रह जीसैट-11 का पांच दिसंबर को फ्रेंच गुआना के एरियानेस्पेस के एरियाने-5 रॉकेट से प्रक्षेपण किया जाएगा. इसरो से मिली खबर के मुताबिक इसका वजन करीब 5,854 किग्रा है. इस सैटेलाइट से देशभर में ब्रॉडबैंड सेवाएं उपलब्ध होंगी और इंटरनेट की स्पीड भी सुधार आएगा.
उल्लेखनीय है कि यह इसरो का बनाया अब तक का ‘सबसे अधिक वजन’ वाला उपग्रह है. जीसैट-11 आगामी पीढ़ी का ‘हाई थ्रूपुट’ संचार उपग्रह है और इसका जीवनकाल 15 साल से अधिक का है. इसे पहले 25 मई को प्रक्षेपित किया जाना था लेकिन तकनीकी कश्मकश के बीच इसके प्रक्षेपण का कार्यक्रम बदल दिया.
शुरुआत में उपग्रह भू-समतुल्यकालिक स्थानांतरण कक्षा में ले जाया जाएगा और उसके बाद उसे भू-स्थैतिक कक्षा में स्थापित किया जाएगा. एरियाने-5 रॉकेट जीसैट-11 के साथ कोरिया एयरोस्पेस अनुसंधान संस्थान (केएआरआई) के लिए जियो-कोम्पसैट-2ए उपग्रह भी लेकर जाएगा. यह उपग्रह मौसम विज्ञान से संबंधित है.
पिछले सप्ताह इसरो ने पोलर सैटलाइट लॉन्च वीइकल (पीएसएलवी) सी-43 के जरिए अतंरिक्ष में बड़ी उड़ान भरी थी. पीएसएलवीसी-43 के जरिए 31 सैटलाइट को सफलतापूर्वक लॉन्च किया गया था. पोलर सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल (पीएसएलवी) की इस साल में यह छठी उड़ान है. पीएसएलवी- सी 43 पृथ्वी का निरीक्षण करने वाले भारतीय उपग्रह एचवाईएसआईएस और 30 अन्य सैटेलाइट को अपने साथ अंतरिक्ष में लेकर गया है. इनमें से 23 सैटेलाइट अमेरिका के हैं.
0-करतारपुर गलियारा
इस्लामाबाद,03 दिसंबर । पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने रविवार को कहा कि करतारपुर गलियारे पर भारतीय मीडिया के कुछ वर्गों की कवरेज ने पाकिस्तान को अचंभित किया है।
बयान में कहा गया कि गलियारे के लिए किसी अन्य की पहल या उद्देश्य बताना पूरी तरह से दुर्भावनापूर्ण है। प्रधानमंत्री इमरान खान ने 28 नवंबर को प्रस्तावित पाकिस्तान और भारत के बीच निशुल्क वीजा मार्ग की आधारशिला रखी थी। इस समारोह में भारत विरोधी कहे जाने वाले एवं हाफिज सईद से संबंध रखने वाले गोपाल सिंह चावला की भारतीय मीडिया ने व्यापक रूप से अलोचना की।
पाकिस्तान ने दोहराया कि इस गलियारे को खोलने की पहल सिख भाइयों के सम्मान में और विशेष रूप से बाबा गुरु नानक देव जी की आगामी 550वीं जयंती के मद्देनजर पाकिस्तान सरकार ने की है। सिख समुदाय के लोग करतारपुर गलियारे की लंबे समय से मांग कर रहे थे। सिखों के संस्थापक गुरू नानक देव ने अपने जीवन के 18 वर्ष से भी अधिक समय करतारपुर में बिताए थे। इस गलियारे के सिख धार्मिक स्थल डेरा बाबा नानक साहिब और गुरुद्वारा दरबार साहिब, करतारपुर से भी जुडऩे की उम्मीद है जिससे सिख श्रद्धालु दोनों पवित्र स्थलों पर जाने में सक्षम होंगे। उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने भारत की ओर से 26 नवंबर को पंजाब के गुरदासपुर में गलियारे की आधारशिला रखी थी।
वाशिंगटन,03 दिसंबर । सीरिया में अमेरिका नीत गठबंधन सेनाओं के हवाई हमलों में आईएस का एक वांछित नेता मारा गया है। वह एक अमेरिकी नागरिक और कईं अन्य लोगों की मौत के लिए प्रत्यक्ष रूप से जिम्मेदार माना जा रहा था।
सीएनएन टेलीविजन ने गठबंधन सेनाओ के प्रवक्ता कर्नल सीन रयान के हवाले से आज बताया कि ये हवाई हमले रविवार को किए गए और इनमें आईएस का शीर्ष नेता अबू अल उमरयान मारा गया है। उसके साथ आईएस के कईं आतंकवादी भी इस हमले में ढेर हुए हैं।
उन्होंने बताया कि अल उमरयान गठबंधन सेनाओं के लिए एक बड़ी चुनौती बना हुआ था और वह अमेरिकी नागरिक तथा पूर्व सैन्य रेंजर पीटर कासिग की हत्या में शामिल था। उसने अनेक लोगों को बंधक बनाकर उनकी बर्बरता से हत्या की थी। अमेरिका ने इस क्षेत्र में आईएस का नामोनिशान मिटाने के लिए सैंकड़ो हवाई हमले किए हैं और गोलाबारी का सहारा भी लिया है।
बेरूत ,03 दिसंबर । सीरिया में जिहादी विरोधी अंतरराष्ट्रीय गठबंठन ने रविवार को कहा कि उसने इस्लामिक स्टेट के उस नेता को निशाना बनाकर हमला किया है, जो अमेरिकी सामाजिक कार्यकर्ता पीटर कासिग और अन्य पश्चिमी कैदियों की हत्या में शामिल था। सीरिया में अमेरिकी नेतृत्व वाले गठबंधन के प्रवक्ता सीन रयान ने कहा, ‘‘गठबंधन बलों ने सीरिया के रेगिस्तान में आईएस के उच्च रैंक वाले नेता अबु अल उमरयान को विशेष तौर पर निशाना बनाकर हमला किया।’’ उन्होंने कहा, ‘‘यह अमेरिकी नागरिक पीटर कासिग की हत्या में शामिल था, जिनका 2013 में सीरिया में अपहरण करने के बाद नवम्बर 2014 में सिर कलम कर दिया गया था।’’ रयान ने कहा, ‘‘वह कई अन्य कैदियों की हत्या के मामले में भी शामिल था।’’ साथ ही उन्होंने कहा कि गठबंधन के हवाई हमले युद्ध के मैदान में आईएस के नियंत्रण को चुनौती देना जारी रखेंगे।
0-भारत की बड़ी कामयाबी
नई दिल्ली ,02 दिसंबर । अंतरराष्ट्रीय मंच पर भारत कोबड़ी कूटनीतिक कामयाबी मिली है। अब भारत 2022 में विश्व के 20 ताकतवर देशों के समूह जी-20 की मेजबानी करेगा। 2022 में भारत की आजादी के 75 साल पूरे होने वाले हैं। मोदी सरकार ने 2022 में न्यू इंडिया का नारा भी दिया है। ऐसे में इस महत्वपूर्ण समूह की बैठक की मेजबानी मिलने को एक बड़ी सफलता के तौर पर देखा जा रहा है।
वर्ष 2022 में इटली को जी-20 सम्मेलन की मेजबानी करनी थी। इस समिट में बोलते हुए पीएम मोदी ने बताया कि उन्होंने इटली से गुजारिश की थी कि वह 2021 में इस सम्मेलन की मेजबानी करे ताकि 2022 का मौका भारत को मिले। पीएम मोदी ने कहा कि इटली समेत दूसरे देश भी इसपर राजी हो गए।
मोदी ने भारत को इसकी मेजबानी मिलने के बाद इसके लिए इटली का शुक्रिया अदा किया और जी-20 समूह के नेताओं को 2022 में भारत आने का न्यौता दिया। पीएम मोदी ने कहा कि मैं आभारी हूं और 2022 में दुनियाभर की लीडरशिप को भारत आने के लिए आमंत्रित करता हूं।
घोषणा के बाद उन्होंने ट्वीट किया, ‘वर्ष 2022 में भारत की आजादी के 75 साल पूरे हो रहे हैं। उस विशेष वर्ष में, भारत जी-20 शिखर सम्मेलन में विश्व का स्वागत करने की आशा करता है। विश्व की सबसे तेजी से उभरती सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था भारत में आइए। भारत के समृद्ध इतिहास और विविधता को जानिए और भारत के गर्मजोशी भरे आतिथ्य का अनुभव लीजिए।’
जी-20 विश्व की 20 प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं का एक समूह है। यह सम्मेलन इस बार अर्जेंटीना के ब्यूनो आयर्स में आयोजित किया गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस सम्मेलन में हिस्सा लेने के बाद वापस दिल्ली लौट आए हैं।