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राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को 21.80 करोड़ से ज्यादा कोविड वैक्सीन की खुराक मुहैया कराई गईं
Posted Date : 24-May-2021 5:21:56 pm

राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को 21.80 करोड़ से ज्यादा कोविड वैक्सीन की खुराक मुहैया कराई गईं

नई दिल्ली ,24 मई । देश भर में चल रहे कोविड-19 टीकाकरण अभियान के तहत भारत सरकार सभी राज्यों और केंद्र-शासित राज्यों को मुफ्त में वैक्सीन मुहैया करवा रही है। इसके अलावा भारत सरकार राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को सीधे तौर पर वैक्सीन खरीदने में भी मदद कर रही है। टेस्ट, ट्रैक और ट्रीट की रणनीति और उचित कोविड व्यवहार के साथ-साथ टीकाकरण भी भारत सरकार की कोविड महामारी के नियंत्रण और प्रबंधन की रणनीति का अहम हिस्सा है।
कोविड-19 टीकाकरण की रणनीति उदारीकृत और त्वरित चरण-3 का कार्यान्वयन 1 मई 2021 से शुरू हो गया है।
इस रणनीति के तहत, हर महीने किसी भी निर्माता की कुल सेंट्रल ड्रग्स लैबरेट्री (सीडीएल) द्वारा स्वीकृत वैक्सीन खुराक का 50 प्रतिशत भारत सरकार द्वारा खरीदा जाएगा। सरकार इन खुराकों को राज्य सरकारों को पूरी तरह से मुफ्त में उपलब्ध कराना जारी रखेगी जैसा कि पहले किया जा रहा था।
भारत सरकार ने अब तक राज्यों/ केंद्र शासित प्रदेशों को 21.80 करोड़ से अधिक टीके की खुराक (21,80,51,890) नि:शुल्क श्रेणी और राज्य द्वारा सीधी खरीद श्रेणी के माध्यम से प्रदान की है।
23 मई 2021 तक 20,00,08,875 खुराक की कुल खपत हुई है जिसे इस दिन तक औसत के आधार पर निकाला गया है और इसमें अपव्यय हुईं खुराक भी शामिल हैं। यह आंकड़ा आज सुबह (24 मई) 8 बजे तक का है।
1.80 करोड़ से अधिक कोविड वैक्सीन खुराक (1,80,43,015) अभी भी राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों के पास उपलब्ध हैं जिन्हें अभी लगाया जाना बाकी है।
इसके अलावा, 48 लाख (48,00,650) से अधिक वैक्सीन खुराक पाइपलाइन में हैं और अगले 3 दिनों के भीतर राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों को प्राप्त होंगी।

देश में कोरोना वायरस से अभी भी जारी है मौतों का तांडव
Posted Date : 24-May-2021 5:20:58 pm

देश में कोरोना वायरस से अभी भी जारी है मौतों का तांडव

0- 24 घंटे में मिले 2.22 लाख से ज्यादा नए मरीज, 4,454 की मौत
नई दिल्ली ,24 मई । देश में कोरोना संक्रमण के दैनिक मामलों में हर रोज कमी आ रही है,लेकिन कोविड संक्रमण से मरने वालों की संख्या में इजाफा होता जा रहा है। कोरोना वायरस के कारण लगातार हो रही मौतों के कारण कोहराम मचा हुआ है।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के सोमवार को जारी आंकड़ो पर गौर की जाए तो पिछले एक दिन में कोरोना के 2,22,315 नए मामले सामने आए। जिसके बाद देश में कुल संक्रमितों की संख्या बढक़र 2,67,52,447 हो गई। हालांकि पिछले 38 दिनों में एक दिन में सामने आए संक्रमण के ये सबसे कम नए मामले हैं। इससे पहले देश में 16 अप्रैल को 24 घंटे में 2,17,353 नए मामले सामने आए थे। वहीं कोरोना संक्रमण से जान गंवाने वालों की संख्या तीन लाख के पार पहुंच गई है। पिछले 24 घंटे में देश में कोरोना से 4,454 की मौत दर्ज की गई है। मसलन देश में संक्रमण से 4,454 और लोगों की मौत के बाद मृतक संख्या बढक़र 3,03,720 हो गई।
सक्रीय मरीजों की संख्या में कमी
वहीं देश में उपचाराधीन मरीजों की संख्या में भी गिरावट आई है और अभी 27,20,716 लोगों का कोरोना वायरस संक्रमण का इलाज चल रहा है, जो कुल मामलों का 10.17 प्रतिशत है। पिछले 22 दिनों से देश में सक्रिय मामलों की संख्या में कमी देखी जा रही है। 3 मई के समय देश में 17.13 फीसदी सक्रिय मामलों की संख्या थी अब यह घटकर 10.17 फीसदी रह गई है। पिछले 2 हफ्तों में सक्रिय मामलों की संख्या में करीब 10 लाख की कमी देखी गई है। पिछले 24 घंटे में उपचाराधीन मरीजों की संख्या में 84,683 की कमी आने से अब 27,20,716 मरीज हैं। संक्रमण के कुल मामलों के 10.17 फीसदी मरीज उपचाराधीन हैं। कुल 71.62 फीसदी उपचाराधीन मरीज कर्नाटक, महाराष्ट्र, तमिलनाडु, केरल, आंध्र प्रदेश, पश्चिम बंगाल, राजस्थान और ओडिशा में हैं।
कोरोना मृत्यु दर 1.14 प्रतिशत
इसके अलावा देश में अब तक 2,37,28,011 लोग कोरोना के संक्रमण से मुक्त हो चुके हैं और राष्ट्रीय स्तर पर स्वस्थ होने की दर 88.70 प्रतिशत है, जो 3 मई तक रिकवरी दर 81.7 फीसदी थी। वहीं कोविड-19 से मृत्यु दर 1.14 प्रतिशत है। देश में पिछले साल सात अगस्त को संक्रमितों की संख्या 20 लाख, 23 अगस्त को 30 लाख और पांच सितंबर को 40 लाख से अधिक हो गई थी।
कोरोना जांच जारी
कोरोना संक्रमण के कुल मामले 16 सितंबर को 50 लाख, 28 सितंबर को 60 लाख, 11 अक्टूबर को 70 लाख, 29 अक्टूबर को 80 लाख, 20 नवंबर को 90 लाख के पार हो गए।  ये मामले 19 दिसंबर को एक करोड़ के पार और चार मई को दो करोड़ के पार चले गए। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के अनुसार, देश में 23 मई तक कुल 33,05,36,064 नमूनों की कोविड-19 संबंधी जांच की गई। इनमें से 19,28,127 नमूनों की जांच रविवार (23 मई) को की गई।

ब्लैक और व्हाइट फंगस से ज्यादा खतरनाक येलो फंगस
Posted Date : 24-May-2021 5:20:28 pm

ब्लैक और व्हाइट फंगस से ज्यादा खतरनाक येलो फंगस

0- देश में मिला पहला येलो फंगस मामला
नई दिल्ली ,24 मई । देश में कोरोना वायरस महामारी के साथ-साथ ब्लैक फंगस और व्हाइट फंगस के भी कई मामले सामने आए, लेकिन अब इन दोनों के अलावा एक और फंगल इंफेक्शन का खतरा दिखाई दे रहा है। गाजियाबाद में येलो फंगल का एक मामला सामने आया है। जानकारों की माने तो येलो फंगस, ब्लैक और व्हाइट फंगस से ज्यादा खतरनाक है। 
सूत्रों के अनुसार इस मरीज का इलाज जारी है और मरीज की उम्र 34 साल है। यह मरीज कोरोना से संक्रमित रह चुका है और साथ में मधुमेह का रोगी भी है। ऐसा बताया जा रहा है कि येलो फंगस घातक बीमारियों में से एक है। येलो फंगस के कई लक्षण हैं। इसमें थकान, कमजोरी महसूस होना, भूख ना लगना या कम भूख लगना जैसे लक्षण शामिल हैं। जैसे-जैसे फंगस का असर बढऩे लगता है वैसे-वैसे मरीज के शरीर में कमजोरी बढऩे लगती है और वजन भी तेजी से कम होने लगता है। इसके अलावा अगर मरीज के शरीर पर कोई घाव है तो उसमें से मवाद का रिसाव होने लगता है और घाव बहुत कम तेजी से ठीक होता है। इस दौरान मरीज की आंखें भी धंस जाती हैं और कई अंग काम करना बंद कर देते हैं। 
क्या है येलो फंगस का उपचार
इसके उपचार को लेकर कहा गया है कि अगर किसी मरीज को अपने शरीर में सुस्ती महसूस हो रही है, भूख कम लग रही है या खाने का बिल्कुल मन नहीं होता तो इसे नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। ऐसे में तुरंत डॉक्टर के पास जाना चाहिए। अभी तक मिली जानकारी के मुताबिक, येलो फंगस गंदगी के कारण किसी मरीज में फैल सकता है। इसलिए अपने घर के आस-पास साफ सफाई रखें और स्वच्छता का ध्यान रखकर इस बैक्टीरिया या वायरस को दूर किया जा सकता है। इसके अलावा पुराना खाना ना खाएं।

श्रमिकों का डेटाबेस बनाएं सरकार : सुप्रीम कोर्ट
Posted Date : 24-May-2021 5:20:00 pm

श्रमिकों का डेटाबेस बनाएं सरकार : सुप्रीम कोर्ट

0- किसी भी मजदूर को राशन से वंचित न रखें
नई दिल्ली ,24 मई । सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना की दूसरी लहर के दौरान प्रवासी मजदूरों के जीवन यापन की समस्या को गंभीरता से लेते हुए केंद्र और राज्य सरकारों से उनके द्वारा उठाए गए कदमों के बारे में जानकारी मांगी है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वह चाहता है कि दिल्ली.एनसीआर ही नहीं बल्कि सभी राज्यों को मजदूरों के लिए मुफ्त ड्राई राशनए कम्युनिटी किचन आदि की व्यवस्था की गई या नहीं। साथ ही इन राज्यों और केंद्र सरकार से कहा है कि जो भी प्रवासी मजदूर अपने गांव लौटना चाहते हैं उनके लिए ट्रांसपोर्ट की व्यवस्था की गई नहीं। शाम तक सुप्रीम कोर्ट इस पर आदेश पारित करेगा। 
केंद्र और राज्यों से विस्तार से मांगी जानकारी
सुप्रीम कोर्ट ने आपदा प्रबंधन कानून के तहत राहत कार्यों में शामिल लोगों सहित कोरोना वायरस से मरने वालों के परिवारों को 4 लाख रुपए के अनुग्रह राशि के भुगतान पर भी केंद्र से जवाब मांगा है। कोर्ट ने पूछा कि कोरोना से मरने वाले लोगों को केंद्र ने सहायता राशि पहुंचाई या नहीं इस पर विस्तार से जानकारी दें।  इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र से मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने को लेकर दिशानिर्देश बताने के लिए कहा। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि मृत्यु प्रमाणपत्र जारी का एकसमान दिशानिर्देश होना चाहिए। गौरतलब है कि पिछले दिनों शीर्ष अदालत ने केंद्र सरकारए दिल्ली सरकारए यूपी और हरियाणा सरकार से कहा है कि वह उन प्रवासी मजदूरों को उनके घर भेजने के लिए ट्रांसपोर्ट की व्यवस्था करें जो अपने घर जाना चाहते हैं। प्रशासन और पुलिस आपस में इसके लिए सहयोग करें। 

धरती पर लॉकडाउन तो आसमां में प्लेन पर रचाई शादी, कपल ने दिया पाबंदियों को चकमा
Posted Date : 24-May-2021 5:19:22 pm

धरती पर लॉकडाउन तो आसमां में प्लेन पर रचाई शादी, कपल ने दिया पाबंदियों को चकमा

सार ,24 मई । मदुरई निवासी राकेश और दक्षिणा ने अपनी शादी को यादगार बनाने की योजना तैयार की। उन्होंने दो घंटे के लिए एक प्लेन किराए पर लिया। साथ ही, तमिलनाडु में लगे लॉकडाउन व कोविड-19 के चलते शादी-समारोह पर लगी पाबंदियों को चकमा दे दिया। 
मुहब्बत की डोर का आखिरी छोर शादी को माना जाता है। यही वजह है कि अपनी जिंदगी के इस खुशनुमा पल को हर कोई यादगार बनाने की कोशिश करता है। कुछ ऐसा ही मदुरई के एक कपल ने भी किया। दरअसल, कोरोना वायरस के चलते तमिलनाडु में इस वक्त सख्त लॉकडाउन लगा है। वहीं, शादी-समारोह पर भी पाबंदियां लागू हैं। ऐसे में इस कपल ने अपनी अनोखी योजना से धरती के लॉकडाउन को चकमा दे दिया और आसमान में शादी रचा ली। इस कार्यक्रम में उनके 161 रिश्तेदार भी शामिल हुए। 
यह है पूरा मामला
गौरतलब है कि कोरोना वायरस महामारी की वजह से देश के अधिकतर राज्यों में लॉकडाउन लगा हुआ है। इसकी वजह से अधिकतर शहरों में कर्फ्यू लगा हुआ है। शादी-समारोहों में पाबंदियां लागू हैं। इसकी वजह से लोगों को अपने कार्यक्रम और मेहमानों की लिस्ट में भी छंटनी करनी पड़ रही है, लेकिन तमिलनाडु के मदुरई निवासी एक कपल ने इन पाबंदियों को बीच अपनी शादी को इस कदर यादगार बना दिया कि वो सुर्खियों में छा गया।
जानकारी के मुताबिक, मदुरई निवासी राकेश और दक्षिणा की शादी होनी थी, लेकिन उनकी मुहब्बत के रास्ते में लॉकडाउन की पाबंदियां आ गईं। ऐसे में उन्होंने दो घंटे के लिए एक प्लेन किराए पर ले लिया और 161 रिश्तेदारों के साथ आसमान में सात फेरे लिए। राकेश-दक्षिणा ने अपनी इस अनोखी शादी का वीडियो सोशल मीडिया पर पोस्ट किया तो वह देखते ही देखते वायरल हो गया। इस वीडियो का कैप्शन था, मदुरई के राकेश-दक्षिणा ने दो घंटे के लिए हवाई जहाज किराए पर लिया और आसमान में शादी रचाई। परिवार के सदस्य मदुरई से बंगलूरू गए थे और शादी के बाद स्पाइसजेट की फ्लाइट लेकर बंगलूरू से मदुरई वापस आ गए।
डीजीसीए ने की कार्रवाई
सोशल मीडिया पर पोस्ट किए गए इस शादी के छोटे से वीडियो में राकेश दक्षिणा के गले में मंगलसूत्र बांधते नजर आए। इस दौरान उनके रिश्तेदार बेहद खुश दिखे और कपल पर फूल बरसाते रहे। सोशल मीडिया पर वायरल इस वीडियो को अब तक हजारों लोग देख चुके हैं। इस मामले में डीजीसीए ने भी कार्रवाई की है। एयरलाइन ने संबंधित अधिकारियों के साथ-साथ कोविड नियमों का पालन नहीं करने वालों के खिलाफ शिकायत दर्ज करने का निर्देश दिया है।

 

प्रधानमंत्री ने चक्रवात ‘यास’ से निपटने की तैयारियों और योजना की समीक्षा बैठक की
Posted Date : 23-May-2021 5:23:22 pm

प्रधानमंत्री ने चक्रवात ‘यास’ से निपटने की तैयारियों और योजना की समीक्षा बैठक की

नई दिल्ली ,23 मई । प्रधानमंत्री  नरेन्द्र मोदी ने आज चक्रवात ‘यास’ से निपटने के लिए संबंधित राज्यों तथा केंद्रीय मंत्रालयों / एजेंसियों की तैयारियों की समीक्षा के लिए एक उच्चस्तरीय बैठक की।
भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने सूचित किया कि चक्रवात ‘यास’ के 26 मई की शाम को 155-165 किलो मीटर की गति से चलने वाली हवा के तेज होकर 185 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलने की संभावना के साथ पश्चिम बंगाल तथा उत्तर ओडिशा तटों को पार करने की संभावना है। इससे पश्चिम बंगाल तथा उत्तर ओडिशा के तटीय जिलों में भारी वर्षा हो सकती है। आईएमडी ने यह चेतावनी भी दी है कि पश्चिम बंगाल और ओडिशा के तटीय क्षेत्रों में लगभग 2-4 मीटर ऊंचा तूफान आ सकता है। आईएमडी नियमित रूप से सभी संबंधित राज्यों को नवीनतम पूर्वानुमान के साथ बुलेटिन जारी कर रहा है।
प्रधानमंत्री को बताया गया कि कैबिनेट सचिव ने 22 मई 2021 को सभी तटीय राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्य सचिव और संबंधित मंत्रालयों/एजेंसियों के अधिकारियों के साथ राष्ट्रीय संकट प्रबंधन समिति (एनसीएमसी) की बैठक की। गृह मंत्रालय 24ङ्ग7 स्थिति की समीक्षा कर रहा है और तटीय राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों तथा संबंधित मंत्रालयों/एजेंसियों के संपर्क में है। राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) ने राज्यों / केंद्र शासित प्रदेशों में नौकाओं, पेड़ काटने वाले उपकरणों, दूरसंचार उपकरणों आदि के साथ 46 टीमों को पहले से तैयार कर रखा है। इसके अतिरिक्त तैनाती के लिए आज 13 टीमें विमान से रवाना की जा रही हैं और 10 टीमें स्टैंडबाई में (आपात स्थिति के लिए) रखी गई हैं।
भारतीय तटरक्षक तथा नौसेना ने राहत, खोज और बचाव कार्यों के लिए जहाज तथा हेलीकॉप्टरों की तैनाती की है। वायु सेना तथा सेना की इंजीनियर टास्क फोर्स इकाइयां तैनाती के लिए स्टैंडबाई में रखी गई हैं। मानवीय सहायता के साथ सात जहाज और आपदा राहत इकाइयां पश्चिमी तट पर स्टैंडबाई में हैं।
पेट्रोलियम तथा प्राकृतिक गैस मंत्रालय द्वारा समुद्र में सभी तेल प्रतिष्ठानों को सुरक्षित रखने तथा जहाजों को सुरक्षित बंदरगाह पर लाने के कदम उठाए गए हैं। विद्युत मंत्रालय ने इमर्जन्सी रिस्पान्स सिस्टम को सक्रिय कर दिया है तथा ट्रांसफार्रमरों, डीजी सेटों तथा उपकरण आदि को तैयार रखा है ताकि बिजली की फौरन बहाली की जा सके। दूरसंचार मंत्रालय टावरों तथा एक्सचेंजों पर निरंतर निगरानी रखे हुए है और दूरसंचार नेटवर्क को बहाल करने के लिए पूरी तरह तैयार है। स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने प्रभावित होने वाले राज्यों/ केंद्र शासित प्रदेशों को स्वास्थ्य क्षेत्र की तैयारियों और प्रभावित इलाकों में कोविड की स्थिति से निपटने के लिए परामर्श जारी किया है। बंदरगाह, नौवहन तथा जल मार्ग मंत्रालय ने सभी जहाजों को सुरक्षित रखने के उपाय किए हैं तथा आपातकालीन जहाजों (टग्स) की तैनाती की है। 
एनडीआरएफ खतरनाक स्थानों से लोगों को निकालने की तैयारियों में राज्य की एजेंसियों की सहायता कर रहा है और चक्रवात की स्थिति से निपटने के लिए निरंतर रूप से सामुदायिक जागरूकता अभियान चला रहा है।
प्रधानमंत्री  नरेन्द्र मोदी ने वरिष्ठ अधिकारियों को राज्यों के साथ निकट सहयोग के साथ काम करने को कहा है ताकि अधिक जोखिम वाले क्षेत्रों से लोगों को सुरक्षित ढंग से निकालने का काम सुनिश्चित हो सके। उन्होंने सभी संबंधित विभागों को निर्देश दिया है कि अपतटीय गतिविधियों में शामिल लोगों की समय से निकासी सुनिश्चित की जानी चाहिए। उन्होंने सभी संबद्ध विभागों को बिजली तथा दूरसंचार नेटवर्क में कटौती का समय कम करने और बिजली तथा दूरसंचार नेटवर्क की तेजी से बहाली के निर्देश दिए। प्रधानमंत्री ने अधिकारियों को राज्य सरकारों के साथ उचित तालमेल और नियोजन कार्य करने को भी कहा ताकि अस्पतालों में कोविड के मरीजों के इलाज और टीकाकरण कार्य में कोई व्यवधान नहीं हो। उन्होंने श्रेष्ठ व्यवहारों से अच्छी सीख लेने के लिए नियोजन और तैयारी की प्रक्रिया में जिला प्रशासन को शामिल करने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि प्रभावित जिलों के नागरिकों को समझने लायक स्थानीय भाषा में क्या करे, क्या नहीं करें का परामर्श और निर्देश दें। प्रधानमंत्री ने तटीय समुदायों, उद्योगों आदि विभिन्न हितधारकों से सीधे संपर्क साधने और उन्हें संवेदी बनाने की आवश्यकता पर बल दिया।
बैठक में गृह मंत्री, प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव, गृह राज्य मंत्री, कैबिनेट सचिव, गृह, दूरसंचार, मत्स्यपालन, नागर विमानन, विद्युत, बंदरगाह, नौवहन तथा जल मार्ग, पृथ्वी विज्ञान मंत्रालयों/विभागों के सचिव, रेल बोर्ड के अध्यक्ष ,सदस्य तथा एनडीएमए के सचिव सदस्य, आईएमडी तथा एनडीआरएफ के महानिदेशक, प्रधानमंत्री कार्यालय और गृह मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए।