डाटा लीक मामले में फंसी फेसबुक ने नया खुलासा किया है. उसका कहना है कि एक थर्ड पार्टी ऐप ने करीब 40 लाख यूजर का पर्सनल डाटा का दुरुपयोग किया गया. यह खुलासा उसकी जांच में हुआ है. फेसबुक ने कहा कि हमने ‘माईपर्सनेल्टी’ एप को बैन कर दिया है. यह 2012 के पहले से एक्टिव है. फेसबुक के अनुसार एप ऑडिट के लिए राजी नहीं था और यह भी साफ है कि उसने रिसर्चर और कंपनियों के साथ डाटा साझा किया. डाटा की सुरक्षा का इंतजाम भी बहुत कमजोर था.
कैसे हुआ डाटा लीक
फेसबुक के अनुसार जिन लोगों ने माईपर्सनेल्टी एप में अपनी फेसबुक जानकारी शेयर की उनका डाटा लीक हुआ है. ऐसे यूजर की संख्या करीब 40 लाख है. अभी यह साफ नहीं है कि माईपर्सनेल्टी ने किसी मित्र की जानकारी चुराई या नहीं. फेसबुक ने मार्च में हजारों थर्ड पार्टी एप के खिलाफ जांच शुरू की थी. उसी दौरान सोशल मीडिया साइट पर कैंब्रिज एनालिटिका को यूजर का पर्सनल डाटा साझा करने का आरोप लगा था. इसके बाद 400 से ज्यादा एप को सस्पेंड कर दिया गया.
थर्ड पार्टी एप की जांच जारी रखेगी फेसबुक
फेसबुक ने कहा कि वह विभिन्न एप के खिलाफ जांच जारी रखेगी. साथ ही साइट की सुरक्षा और पुख्ता करेगा ताकि किसी थर्ड पार्टी एप के जरिए डाटा चोरी न हो सके. जून में फेसबुक पर फिर यूजर्स का डाटा लीक करने का आरोप लगा था. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक ने एप्पल, सैमसंग, माइक्रोसॉफ्ट समेत स्मार्टफोन बनाने वाली दुनिया की करीब 60 कंपनियों को यूजर्स से संबंधित जानकारी लीक की थी. हालांकि, फेसबुक ने कैम्ब्रिज एनालिटिका मामले के बाद यूजर्स की जानकारी न साझा करने का दावा किया था. उसने अपने सिक्योरिटी फीचर्स को भी मजबूत बनाने का दावा किया था. लेकिन, नए विवाद के बाद अब फेसबुक फिर से सवालों के घेरे में आ गई.