व्यापार

16-Dec-2020 11:27:27 am
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कोरोना काल में जोनेती बनी बड़ी सॉफ्टवेयर कंपनी, वैल्यू 1 अरब डॉलर पार

नई दिल्ली। स्पॉ और सैलून के लिए सॉफ्टवेयर बनाने वाली कंपनी इस साल भारत का नौंवा यूनिकॉर्न बन गया है। इसकी वैल्यू 1 अरब डॉलर पार कर गई है। अमेरिकी इन्वेस्टर ने कंपनी की वैल्यू 1 अरब डॉलर मानते हुए हाल ही में 160 मिलियन डॉलर का भारी निवेश किया है। अगस्त 2019 में कंपनी की वैल्यू 350 मिलियन डॉलर थी। इस साल यूनिकॉर्न की लिस्ट में पाइन लैब्स, फर्स्ट क्राई, नायका, जिरोधा, पोस्टमैन, अनअकेडमी, रेजरपे और कार्स 24 जैसी कंपनियां शामिल हुई हैं। अगस्त में की तरफ से यूनिकॉर्न इंडेक्स 2020 लिस्ट जारी की गई थी। इसके तहत पूरे विश्व में 586 यूनिकॉर्न हैं। अमेरिका में 233 यूनकॉर्न, चीन में 227 यूनिकॉर्न, इंग्लैंड में 24 यूनिकॉर्न और भारत में 21 यूनिकॉर्न हैं। भारत में सबसे ज्यादा 8 यूनिकॉर्न बेंगलुरू में, 6 गुरुग्राम में और 2 नोएडा में हैं। पुणे, नई दिल्ली, अहमदाबाद, फरीदाबाद और मुंबई में एक-एक हैं। इनमें से 7 यूनिकॉर्न ई-कॉमर्स बिजनेस में, 3 फाइनैंशल टेक्नॉलजी में, 2 शेयर इकॉनमी में, 2 लॉजिस्टिक्स में और 2 ऑन-डिमांड डिलिवरी बिजनेस में हैं।
इन्वेस्टर्स की बात करें तो सॉफ्ट बैंक ने 9 यूनिकॉर्न में, अलीबाबा ग्रुप ने 5, टाइगर ग्लोबल मैनेजमेंट ने 5, ने 4, डीएसटी ग्लोबल 3, टेंशेट 3, जनरल अटलांटिक 3,होल्डिंग 3 में निवेश किया है। भारत के 21 यूनिकॉर्न की टोटल वैल्यू 73.2 अरब डॉलर है। इनमें से टॉप-10 की वैल्यू टोटल वैल्यू की 78 फीसदी है। भारत का सबसे बड़ा यूनिकॉर्न है। इसकी मार्केट वैल्यू 16 अरब डॉलर है। ग्लोबल लिस्ट में यह 13 वें पायदान पर है। पेटीएम की स्थापना विजय शेखर शर्मा ने 2010 में की थी। भारत का दूसरे सबसे बड़ा यूनिकॉर्न है। इसकी वैल्यू 8 अरब डॉलर है। रितेश अग्रवाल ने इसके फाउंडर हैं। एजुकेशन-टेक स्टार्टअप्स तीसरा सबसे बड़ा यूनिकॉर्न है। ग्लोबल लिस्ट में यह 31वें पायदान पर है। इसकी मार्केट वैल्यू 8 अरब डॉलर है।

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