छत्तीसगढ़

आंगन में होगी सब्जी बाड़ी लाईम स्टोन से भरपूर सीमेंट कारखानों से लगे हुए 62 गांवो मे टमाटर, लोकी, मिर्च और कुम्हड़ा की फसल लेने की तैयारी
Posted Date : 23-Dec-2016 7:37:50 am

आंगन में होगी सब्जी बाड़ी लाईम स्टोन से भरपूर सीमेंट कारखानों से लगे हुए 62 गांवो मे टमाटर, लोकी, मिर्च और कुम्हड़ा की फसल लेने की तैयारी

भाटापारा  खनिज संपदा से भरपूर गांवों में सब्जी की खेती की तैयारी षुरु हो चली है। उद्यानिकी विभाग की चुनौतीपूर्ण योजना के तहत जिले के वे 22 गांव षामिल होगें जहां से सीमेंट कारखानों को लाईम स्टोन पहुंचता है। योजना का प्रारुप तैयार कर लिया गया है। इसी तरह सांसद आदर्ष ग्राम में भी तीन विकासखंड के 40 गांवों में सब्जी की फसल ली जाएगी। इसके अलावा पहली बार “आंगन बाडी“ नाम की एक ऐसी योजना आकार लेने जा रही है जिसके अंतर्गत 500 वर्ग मीटर क्षेत्रफल मे सब्जियां उगाई जाएंगी।
उद्यानिकी फसलों को बढ़ावा देने की सरकार की कोषिषों के बीच इन दिनों बलौदा बाजार जिला अव्वल नंबर पर आने के लिए प्रयासरत् है। विभाग की गंभीर कोषिषों के बीच जिस तेजी से सब्जी की खेती का रकबा बढ़ रहा है उसने अब यहां से दूसरे राज्यों को  सब्जी निर्यात के द्वार खोल दिए है। सब्जी उत्पादक किसानो की रुचि को देखते हुए उद्यानिकी विभाग ने इस बार दो ऐसी योजना पर तेजी से अमल करना षुरु कर दिया है जो यदि सफल होती है तो बलौदा बाजार ऐसा पहला जिला होगा जो असंभव को संभव कर दिखाने वाला होगा। इसमें पहली योजना निष्चित ही चुनौतीपूर्ण होगी। क्योंकि अभी तक पथरीली जमीन पर सब्जी की खेती बेहद कठिन मानी जाती है। तो दूसरी योजना छोटी जमीन के मालिक किसानों के लिए वरदान साबित होगी। इसमें बेहद छोटे रकबे में सब्जी की खेती की जाएगी। पथरीली जमीन पर 
उद्यानिकी विभाग ने इस योजना के लिए जिले के उन 22 गांवो की 100 हेक्टेयर जमीन को चिन्हाकिंत किया है जो सीधे-सीधे सीमेंट कारखानों से लगे हुए है। लाईम स्टोन से भरपूर इन गांवों मे खेती हमेषा से कठिन काम रही है। इसे चुनौती के रुप में स्वीकार करते हुए इन गांवो मे टमाटर, लोकी, मिर्च और कुम्हड़ा की फसल ली जाएगी। इसके लिए इन चारों प्रजातियों के सब्जी बीज के एक मिनीकिट के रुप में किसानों तक पहुंचाए जाऐंगे। खेती के पहले और बाद मे फसल तैयार होते तक विभाग का मैदानी अमला इन गांवों के सब्जी उत्पादक किसानों का मार्गदर्षन करता रहेगा।

ऐसी होगी आंगन में  बाड़ी 

जिले में पहली बार “आंगन बाड़ी“ योजना आकार लेने जा रही है। इसके तहत 500 वर्ग मीटर के रकबे मे सब्जी की खेती की जाएगी।े विभाग की मदद ऐसे किसानें तक ड्रिप सिस्टम, तार घेरा, सब्जी बीज और फलदार पौधे के रुप मे पहुंचेगी। पहली बार यह योजना उन गांवों मे भी पहुंचेगी जिन्हे सांसद आदर्ष ग्राम घोषित किया गया है। इसमे पलारी ,बलौदा बाजार और सिमगा विकासखंड के 40 गांव चुने गए है। विभाग अब दोनों योजना पर एक साथ काम करने को तैयार है।
वर्जन
मिनरल एरीया के गांवों मे पहली बार यह योजना लागू की जा रही है। आंगन बाड़ी योजना पर भी काम चालू कर दिया गया है।
-रामजी चतुर्वेदी ,सहा. संचालक (उद्यानिकी) बलौदा बाजार

सांस्कृतिक भवन का निर्माण पूरा हो तो हर साल बचेंगे Rs.40 लाख
Posted Date : 23-December-2016 6:22:45 am

सांस्कृतिक भवन का निर्माण पूरा हो तो हर साल बचेंगे Rs.40 लाख

नगर निगम द्वारा बनाया जा रहा सामुदायिक भवन का निर्माण पूर्णता तक आकर फिर अधर में लटक गया। फंड के अभाव में काम बंद होने के बाद भवन की चमक और परिसर का सौंदर्य फीका पड़ रहा है। लगभग ढाई साल पहले जब निगम ने जब सामुदायिक भवन बनाना शुरू किया था तो इसका बजट लगभग तीन करोड़ रुपए था, अब कुल खर्च सात करोड़ रुपए बताकर चार करोड़ का फंड और मांगा जा रहा है। छोटे-मध्यम स्तर के सरकारी सांस्कृतिक कार्यक्रमों में टेंट का खर्च ही साल में लगभग 40 लाख रुपए होता है। अगर यह सामुदायिक भवन तैयार हो जाए तो निगम व प्रशासन का खर्च भी बच जाएगा। 

शहर में काफी अधिक संख्या में सरकारी कार्यक्रम होते हैं, जगह के अभाव में आयोजनों को खुले स्थान में किया जाता है, जहां टेंट व बैठक व्यवस्था में ही लाखों का खर्चा सामने आता है। चाहे फिर राज्योत्सव की बात हो या फिर रोजगार मेले की। हर वर्ष चक्रधर समारोह में ही टेंट लगाने में 7 से 10 लाख रुपए खर्च किए जाते हैं। इन खर्चों पर अंकुश सांस्कृतिक भवन के निर्माण से लगाया जा सकता था। बावजूद उसके शीघ्र निर्माण को लेकर कोई कवायद नहीं की जा सकी है। बताया जाता है कि दो करोड़ 80 लाख रुपए की मंजूरी मिली थी, जिसमें भवन के ढांचे को खड़ा कर दिया। अब साज सज्जा और बैठक व्यवस्था में 4 करोड़ रुपए तक खर्चा सामने आ रहा है, जिसे फंड की कमी के चलते रोक दिया गया है।