इस्लामाबाद । भारत के साथ जारी तनाव के बीच पाकिस्तान को अब अपने ही घर में भीषण चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है। बलूचिस्तान प्रांत में विद्रोही संगठनों ने पाकिस्तानी सुरक्षा बलों के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है, जिससे पाकिस्तानी सेना की मुश्किलें काफी बढ़ गई हैं। ताजा रिपोर्टों के अनुसार, बलूच लिबरेशन आर्मी (क्चरु्र) ने बलूचिस्तान की राजधानी क्वेटा में पाकिस्तानी सेना की कई चौकियों पर कब्जा करने का दावा किया है।
बीएलए का कहना है कि उसने पाकिस्तानी सेना को पीछे हटने पर मजबूर कर दिया है और शहर के कई हिस्सों पर सेना का नियंत्रण खत्म हो गया है। इसके अलावा, बीएलए ने एक गैस पाइपलाइन को भी उड़ाने का दावा किया है।
राजधानी क्वेटा में फ्रंटियर कॉर्प्स के मुख्यालय समेत प्रमुख सैन्य प्रतिष्ठानों के पास विस्फोटों और गोलीबारी की खबरें आई हैं। बलूचिस्तान में बीएलए के इन हमलों ने पाकिस्तान के लिए एक साथ कई मोर्चों पर संकट खड़ा कर दिया है।
एक तरफ जहां बलूचिस्तान में अलगाववादी सक्रिय हैं, वहीं खैबर-पख्तूनख्वा प्रांत में तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (ञ्जञ्जक्क) भी पाकिस्तानी सेना पर लगातार हमले कर रहा है। पिछले कुछ दिनों में टीटीपी के हमलों में कई पाकिस्तानी सैनिक मारे गए हैं। इसके अतिरिक्त, हाल ही में भारतीय सुरक्षा बलों ने भी पाकिस्तान स्थित आतंकी ठिकानों पर जवाबी कार्रवाई की थी।
बलूचिस्तान में पाकिस्तानी सेना पर ये हमले ऐसे समय में हुए हैं, जब बृहस्पतिवार रात को पाकिस्तान ने भारत के जम्मू, पठानकोट, ऊधमपुर सहित कई शहरों में सैन्य अड्डों को मिसाइलों और ड्रोन से निशाना बनाने की नाकाम कोशिश की थी। भारतीय सेना ने पाकिस्तान के इस दुस्साहस को विफल करते हुए जवाबी कार्रवाई की और लाहौर, इस्लामाबाद, रावलपिंडी समेत पाकिस्तान के कई शहरों को निशाना बनाया।
गौरतलब है कि पाकिस्तानी सेना पर बलूचिस्तान में यह हमला एक दिन पहले बोलन इलाके में हुए बड़े हमले के बाद हुआ है। बुधवार को बीएलए ने पाकिस्तानी सेना के एक गश्ती दल को निशाना बनाया था। बीएलए के स्पेशल ऑपरेशन दस्ते ने रिमोट कंट्रोल इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस (ढ्ढश्वष्ठ) विस्फोट के जरिए सेना के वाहन को उड़ा दिया था। इस हमले में 12 पाकिस्तानी सैनिक मारे गए थे। बीएलए से जुड़े मीडिया ग्रुप हक्काल ने इस हमले का एक वीडियो भी जारी किया था।
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