0-मुजफ्फरनगर दंगा
मुजफ्फरनगर ,08 फरवरी । मुजफ्फरनगर दंगे की वजह बने कवाल कांड में मलिकपुरा गांव के सचिन और उसके ममेरे भाई गौरव की हत्या में दोषी ठहराए गए सात लोगों को अदालत शुक्रवार को सजा सुनाएगी. 27 अगस्त, 2013 को जानसठ कोतवाली क्षेत्र के कवाल गांव में मलिकपुरा के गौरव और उसके ममेरे भाई सचिन की हत्या कर दी गई थी. इस घटना में कवाल के शाहनवाज की भी मौत हुई थी. पुलिस प्रशासन ने फैसले को लेकर सुरक्षा व्यवस्था के कड़े इंतजाम किए हैं. कवाल और मलिकपुरा में पुलिस-पीएसी तैनात कर दी गई है. इस मामले में बुधवार को मुजफ्फरनगर की एक अदालत ने मृतक शाहनवाज के पक्ष के फुरकान, मुजस्सिम, मुजम्मिल, अफजल, इकबाल, जहांगीर और नदीम को हत्या का दोषी ठहराया था.
बता दें कि 5 साल पहले मुजफ्फरनगर के कवाल गांव में मोटरसाइकिल टकराने को लेकर हुए विवाद के बाद गौरव और सचिन नाम के दो युवकों ने गांव के ही शाहनवाज की चाकू मारकर हत्या कर दी थी. इसके बाद भीड़ ने दोनों को दौड़ाकर पकड़ लिया और पीट-पीटकर मार डाला था. इसके बाद मुजफ्फरनगर में भारी सांप्रदायिक तनाव फैल गया. इसके बाद एक सप्ताह से ज्यादा दिनों तक जिला भीषण दंगे से जूझता रहा. इस दंगे में 60 से ज्यादा लोगो की मौत हुई और 50 हजार से ज्यादा लोग बेघर हो गए.
इस घटना के बाद मृतक गौरव के पिता रविंद्र सिंह की ओर से जानसठ कोतवाली में कवाल के मुजस्सिम व मुजम्मिल पुत्र नसीम, फुरकान पुत्र फजला, जहांगीर, नदीम, शाहनवाज (मृतक) पुत्रगण सलीम, अफजाल व इकबाल पुत्रगण बुंदू के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कराया था.
मृत शाहनवाज के पिता सलीम ने भी मृतक सचिन और गौरव के अलावा पांच परिजनों के खिलाफ जानसठ कोतवाली में एफआईआर दर्ज कराई थी. हालांकि एसआईसी (स्पेशल इन्वेस्टिगेशन) सेल जांच के बाद शाहनवाज हत्याकांड में एफआर लगा दी गई थी.
ममेरे भाइयों सचिन और गौरव हत्याकांड में एसआईसी के विवेचक संपूर्णानंद तिवारी ने 24 नवंबर 2013 को चार्जशीट कोर्ट में प्रस्तुत की थी. 15 अप्रैल 2014 को केस का ट्रायल प्रारंभ हुआ. फिलहाल यह मामला एडीजे हिमांशु भटनागर की कोर्ट संख्या-सात में चल रहा है.
अभियोजन पक्ष की ओर से दस गवाह और बचाव पक्ष की ओर से छह गवाह अदालत में पेश किए गए. कवाल कांड के बाद से ही दोहरे हत्याकांड के पांच आरोपी मुजस्सिम, मुजम्मिल, फुरकान, नदीम, जहांगीर तभी से जेल में बंद है. दो आरोपी अफजाल और इकबाल को हाईकोर्ट से जमानत मिली हुई है.