बिलासपुर, 13 फरवरी । नए पुलिस कप्तान अभिषेक मीणा के कार्यभार संभालने के बाद बिलासपुर पुलिस ने एक अनोखी मुहिम शुरू की है। अलग-अलग मामलों में थानों में जिन वाहनों की ढेर लग चुकी थी उन्हें सभी थानों से इकट्ठा कर पुलिस मैदान में रखा गया है ,इनमें से कोई वाहन चोरी चली गई थी,तो किसी को दुर्घटना के बाद जप्त किया गया था, तो कोई और वाहन किसी और वजह से राजसात की गई थी, लेकिन अब पुलिस कप्तान अभिषेक मीणा और एसपी विजय अग्रवाल की पहल पर उन्हें उनके असली वारिसो तक पहुंचायी जा रही है ,इसके लिए अलग अलग मेक के वाहनों के पृथक से इंजन नंबर ,चेसिस नंबर और रजिस्ट्रेशन नंबर की सूची तैयार की गई है ताकि वाहन के मालिक आसानी से अपने वाहन की पहचान कर सकें। आओ और अपने वाहन ले जाओ वाली इस मुहिम में कोई भी , वाहन के जरूरी दस्तावेज और पहचान दिखाकर कर अपने वाहन हासिल कर सकता है। रोज बड़ी संख्या में लोग मैदान में इन वाहनों को देखने पहुंच रहे हैं और हर दिन कुछ लोगों को उनके दुपहिया वाहनों सौंपे जा रहे हैं।
पूरे जिले भर से इक_ा किये गए वाहनों को पुलिस मैदान में रखा गया है ।अब तक दर्जनों लोग अपने वाहन ले जा चुके हैं। वहीं पुलिस अधिकारी भी वाहनो की पहचान कर उन्हें उनके मालिको तक पहुंचाने की कोशिश कर रहे हैं । विभाग इस बात की भी तैयारी कर रहा है कि किसी एक दिन थोक में वाहन मालिकों को उनके वाहन सुपुर्द की जाए। जिन्हें भी अपना वाहन वापस मिल रहा है उनके चेहरे की खुशी बयां कर रही है कि उन्हें भी शायद इस बात की उम्मीद भी नहीं थी। इसलिए हर कोई पुलिस के इस अभियान की जी खोलकर तारीफ कर रहा है ।पुलिस अधिकारी भी ऐसे वाहनों के वारिसों की प्रतिक्रिया को खुद पहुंचकर जान रहे हैं। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि यह कार्यवाही 20 फरवरी तक चलाई जाएगी जिसके बाद शेष बचे सभी वाहनों को लावारिस घोषित कर दिया जाएगा और फिर उनकी नीलामी की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। इसलिए इस पूरी प्रक्रिया में शहर के कबाड़ी और पुराने वाहनों का कारोबार करने वाले भी दिलचस्पी दिखा रहे हैं।
0-गोंदिया-झारसुगुड़ा पैसेंजर 28 फरवरी तक रहेगी रद्द
रायपुर, 13 फरवरी । दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे के अंतर्गत संरक्षा से संबंधित आधुनिकीकरण कार्य के लिए कुछ टे्रनें प्रभावित रहेगी। इधर कुछ टे्रनों को रद्द कर दिया गया है।
रेलवे सूत्रों ने बताया कि दक्षिाण पूर्व रेलवे के अंतर्गत विभिन्न सेक्शनों में संरक्षा से संबंधित एवं आधुनिकीकरण का कार्य 09 फरवरी से प्रारंभ हो गई है। इसके फलस्वरूप कुछ गाडिय़ों का परिचालन रद्द किया गया है। 09 फरवरी से 28 फरवरी तक झारसुगुड़ा-गोंदिया पैसेंजर को रद्द कर दिया गया है, इसी तरह 10 फरवरी से गोंदिया से झारसुगुड़ा जाने वाली पैसेंजर टे्रन को रद्द किया गया है। टाटानगर से कुर्ला तक चलने वाली अंत्योदय एक्सप्रेस को इस माह के 14, 17, 21, 24 एवं 28 फरवरी को रद्द किया गया है। वहीं कुर्ला से निकलने वाली अंत्योदय एक्सप्रेस 16, 19, 23 एवं 26 फरवरी एवं 02 मार्च को रद्द किया गया है। इसी तरह नांदेड़-सांतरागाछी एक्सप्रेस इस माह के 18, 25 फरवरी को तथा सांतरागाछी से छूटने वाली नांदेड़ एक्सप्रेस आज 13 फरवरी के साथ ही 20 व 27 फरवरी को रद्द रहेगी। वहीं हावड़ा से मुंबई चलने वाली एक्सप्रेस गाड़ी 15 एवं 22 फरवरी को तथा मुंबई से हावड़ा के लिए छूटने वाली एक्सप्रेस 17 एवं 24 फरवरी को रद्द रहेगी।
कोरबा 13 फरवरी । यातायात पुलिस कोरबा ने सोमवार देर रात तक शराब पीकर वाहन चलाने वाले 32 चालकों पर कार्यवाही की। इनमें 11ट्रेलर, 6 ट्रक, एक बस, एक कैपसूल, एक टेंकर, एक ट्रैक्टर, एक माजदा और 10 मोटरसाइकिल चालक शामिल है। सभी वाहन को जब्त कर मोटरयान अधिनियम के धारा 185 के तहत न्यायालय में पेश किया गया है। जब्त अधिकतर वाहनें लोडेड थी।
यातायात पुलिस ने 04 फरवरी से 10 फरवरी 2019 तक जिले में सडक़ सुरक्षा का आयोजन किया। इस दौरान खासकर वाहन चालकों को शराब पीकर वाहन नहीं चलाने की सख्त हिदायत दी गई थी। ताकि सडक़ दुर्घटनाओं को रोका जा सके। यातायात सूबेदार भुनेश्वर प्रसाद कश्यप ने बताया कि अधिकतर सडक़ हादसे वाहन चालक की लापरवाही और नशे की हालत में ड्राइविंग करने से होती है। इस पर अंकुश लगाने के लिए शराब पीकर वाहन चलाने वालों के खिलाफ अभियान चलाकर कार्यवाही की जा रही है।
अलग अलग जगहों पर 4 टीम ने की कार्यवाही- यातायात प्रभारी एसएस पटेल ने बताया कि पुलिस अधीक्षक के निर्देश पर शराब पीकर वाहन चलाने वालों पर कार्यवाही करने के लिए 04 टीम बनायी गई थी। सूबेदार भुनेश्वर कश्यप की टीम रिसदी चौक पर थी जिन्होंने ने शराब पीकर वाहन चलाते पाये गए 09 ट्रक ट्रेलर और एक बाइक पर कार्यवाही की। एएसआई मालिक राम जांगड़े की टीम कुसमुंडा रोड पर थी। उन्होंने तीन ट्रेलर, दो ट्रैक्टर, एक मोटरसाइकिल पर कार्यवाही की एएसआई विभव तिवारी की टीम इमलीडग्ुगु पर थी। उन्होंने दो ट्रक, एक ट्रेलर, एक बस और एक माजदा पर कार्यवाही की। एक टीम में यातायात प्रभारी श्री पटेल स्वयं थे। उन्होंने सात मोटरसाइकिल और चार ट्रेलर वाहनों पर कार्यवाही की। इस तरह से कुल 11ट्रेलर, 6 ट्रक, एक बस, एक कैपसूल, एक टेंकर, एक ट्रैक्टर, एक माजदा और 10 मोटरसाइकिल चालकों पर कार्यवाही की गई। यह कार्यवाही आगे भी जारी रहेगी।
० 28 फरवरी को नई दिल्ली में किया जाएगा सम्मानित
जगदलपुर, 13 फरवरी । बस्तर कलेक्टर डॉ. अय्याज तम्बोली को देश की प्रतिष्ठित समाचार पत्र समूह द इंडियन एक्सप्रेस द्वारा एक्सेलेंस इन गवर्नेंस अवार्ड के लिए चयनित किया गया है। डॉ. तम्बोली को यह पुरस्कार 28 फरवरी को नई दिल्ली स्थित होटल ओबेराय में आयोजित कार्यक्रम में प्रदान किया जाएगा।
डॉ. तम्बोली को यह पुरस्कार विगत दो वर्षों में कलेक्टर के तौर पर पूरे देश के लिए उदाहरण देने वाले कार्यों के लिए प्रदान किया जा रहा है। इस पुरस्कार की दौड़ में शामिल 250 लोगों में डॉ. तम्बोली का चयन सर्वोच्च न्यायालय केक्र पूर्व मुख्य न्यायाधीश जस्टिस आरएम लोढ़ा की अध्यक्षता में गठित समिति द्वारा किया गया। उन्हें यह पुरस्कार स्वास्थ्य के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्यों के लिए दिया गया, जिसके माध्यम से क्षेत्र की जनता को गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराकर लोगों की जीवन रक्षा का महत्वपूर्ण कार्य किया गया।
उल्लेखनीय है कि डॉ. तम्बोली द्वारा बीजापुर जैसे अतिसंवेदनशील क्षेत्र में जिला कलेक्टर के तौर पर स्वास्थ्य के क्षेत्र में कई महत्वपूर्ण कार्य किए गए। उन्होंने बीजापुर जिले में चिकित्सकों की कमी को दूर करने के साथ ही जिला अस्पताल में कई जटिल ऑपरेशन जैसी सुविधाएं प्रारंभ कीं। इसके साथ ही उन्होंने जांगला में भारत का पहला हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर की स्थापना भी की।
जगदलपुर, 13 फरवरी । बस्तर के जलवायु नियामक साल वृक्षों का अत्यंत महत्व है और शहर के समीप ही कुम्हड़ाकोट स्थल पर साल वनों का पहले जो विशाल छोटा वन था वह समय की मार और लगातार होती रही अनदेखी तथा लकड़ी चोरों की भेंट चढ़ गया है।
इसे देखते हुए वन विभाग ने वर्ष 2012 में सिंचाई की व्यवस्था ड्रिप के माध्यम से करते हुए 6 हेक्टेयर से भी अधिक क्षेत्र में 6 हजार से भी अधिक साल पौधों का रोपण कर यहां एक साल वन विकसित करने की योजना शुरू की थी। इस रोपण को देखने तथा इसकी सुरक्षा के लिए चौकीदार की नियुक्त किया गया लेकिन गत वर्ष अचानक लगी आज से सैकड़ों की संख्या में इस रोपणी के पौधे जलकर खाक हो गए। जिसके कारण आज इस रोपणी में गिनती के ही पौधे बच पाएं हैं। इस प्रकार वन विभाग की साल वन विकसित करने की योजना लाखों रूपए खर्च करने के बाद भी पानी में चली गई।
उल्लेखनीय है कि इसके बाद इस कुम्हड़ाकोट वन में साल प्लांटेशन के लिए पुन: रोपण नहीं किया गया, जबकि प्राकृतिक आपदा से पौधों के नष्ट होने से फिर से रोपण कराए जाने की योजना होती है। और इसमें कोशिश की जाती है कि पर्यावरण तथा जलवायु की अनुकूलत: के लिए वन विकसित हो सके। अब वर्तमान में वन विभाग यहां कुछ करने की इच्छा में नहीं है और इस वन विकसित करने की योजना फ्लाप सिद्द हो गई है। ऐसी स्थिति में पर्यावरण प्रेमियों और स्थानीय नागरिकों ने शहर में बढ़ रहे जलवायु प्रदूषण को देखते हुए वन विभाग से आग्रह किया है कि पर्यावरण के लिए आवश्यक पुन: साल वनों को स्थापित किया जाए और लोगों को स्वच्छ जलवायु प्रदान करने का उपक्रम किया जाए।
० मुठभेड़ के दौरान भी इनका इस्तेमाल किया जाता है
जगदलपुर, 13 फरवरी । नक्सलियों ने अपने आपको सुरक्षित करने और अपनी सहायता के लिए बस्तर के ग्रामीण क्षेत्रों के बच्चों को भी हिंसा की राह में लगा दिया है और उनके हाथों में कापी-किताब की बजाय हथियार थमाएं जा रहे हैं।
प्राप्त जानकारी के अनुसार दंतेवाड़ा एवं बीजापुर के भीतरी क्षेत्रों में नक्सलियों ने अपनी रणनीति के तहत पांच से तेरह वर्ष के बच्चों को पिस्तौल सहित देशी कट्टे से फायर करना सीखा रहे हैं और इन बच्चों को पुलिस से मुठभेड़ के समय अपनी सहायता के लिए साथ रखा जाता है। इसके अलावा इन्हीं बच्चों से पुलिस की हर सूचना प्राप्त करने के लिए इन्हें इस्तेमाल किया जाता है।
उल्लेखनीय है कि पिछले वर्षों में कई ऐसी घटनाएं घटित हुई, जिसमें स्कूली पोशाक में बच्चों को नक्सलियों की मदद करते देखा गया है। वर्ष 2009 में पूर्व सांसद बलिराम कश्यप के पुत्र तानसेन कश्यप की हत्या भी उनके घर में घुसकर इन्हीं बाल संघम सदस्यों ने की थी। इसके अलावा 2011 में पूर्व मंत्री केदार कश्यप के गनमैन पर हमला करके उसके हाथ से एके 47 रायफल छीनी गई थी। इसी प्रकार कई ऐसी घटनाएं सामने आई हैं, जिसमें इन बाल संघम सदस्यों का योगदान रहा। आज भी नक्सली अपने आपको सुरक्षा बलों के दबाव से सुरक्षित रखने ग्रामीण क्षेत्रों के आदिवासी ग्रामीण बच्चों को स्कूल जाने की बजाय उन्हें हिंसा की ओर मोडक़र, उनके हाथों में बंदूकें थमा रहे हैं।
इस बात की पुष्टि पुलिस अधीक्षक बीजापुर मोहित गर्ग ने करते हुए कहा कि नक्सली गतिविधियों पर पुलिस की लगातार नजर रहती है। वर्तमान में नक्सली गांव के छोटे-छोटे बच्चों एवं महिलाओं को बरगलाकर हिंसा में झोंक रहे हैं।