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25-Jul-2022 2:13:14 pm
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जलमार्ग परिवहन को बढ़ावा देने के लिए बड़ा फैसला, रो-पैक्स फेरी, यात्री फेरी को 6 महीनों के लिए बंदरगाह और पोत संबंधी शुल्क से छूट

नई दिल्ली। बंदरगाह, नौवहन और जलमार्ग मंत्रालय (एमओपीएसडब्ल्यू) रो-रो, रो-पैक्स, फेरी जलमार्ग परिवहन को बढ़ावा देने के लिए सभी प्रमुख बंदरगाहों को अगले छह माह के लिए रो-पैक्स फेरी,यात्री फेरियों पर वर्तमान में लगाए जा रहे पोत संबंधी शुल्क से तत्काल प्रभाव से छूट देने का निर्देश दिया है।
जल मार्ग में परिवहन के अन्य साधनों की तुलना में कम उत्सर्जन होता है। साथ ही, परिवहन के परम्परागत साधनों के मुकाबले काफी समय और धन की बचत होती है। साथ-साथ सडक़,रेलवे पर यातायात की भीड़, ध्वनि प्रदूषण और सडक़ों पर दुर्घटनाएं भी कम हो सकती हैं। इस तरह की जल-आधारित परिवहन सेवा रसद लागत को कम करने, यात्रा के समय को कम करने और कई व्यवहार्य मार्गों पर तटीय शिपिंग को बढ़ावा देने के लिए एक प्रभावी उपाय है।
मंत्रालय के मुताबिक समुद्री ईंधन लो सल्फर हाई फ्लैश हाई स्पीड डीजल की कीमत 76,000 रुपये केएल से बढक़र 1,21,000 रुपये केएलहो गई है। इसी तरह, वेरी लो सल्फर फ्यूल ऑयल (वीएलएसएफओ) की कीमत 40608 रुपये केएल से बढक़र 80917 रुपये केएल हो गया है। यहां उल्लेखनीय है कि वित्त वर्ष 2021-22 की शुरूआत में समुद्री ईंधन-एलएसएचएफएचएसडी की लागत खुदरा डीजल- एचएसडी से 10-15 प्रतिशत कम हुआ करती थी। इसलिए, प्रभावी रूप से वृद्धि 40 प्रतिशत से अधिक है।
नौका संचालन पर हाई मैरीन ईंधन की कीमतों और जीएसटी के प्रभाव पर चर्चा करने के लिए केन्द्रीय मंत्री सबार्नंद सोनोवाल ने हाल ही में पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय के संयुक्त सचिव (जीपी डिवीजन) नवनीत मोहन कोठारी और राजस्व विभाग, वित्त मंत्रालय के संयुक्त आयुक्त निबा राम और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की थी।
इस संबंध में उन्होंने केन्द्रीय वित्त और कॉपोर्रेट कार्य मंत्री निर्मला सीतारमण और केन्द्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय में मंत्री को इस मुद्दे पत्र लिखकर उनसे ईंधन पर लगे करों और मूल्य को कम करके इस क्षेत्र के लिए अपना समर्थन देने का अनुरोध किया था। मंत्रालय ने सभी राज्यों से इस क्षेत्र द्वारा उपयोग किए जाने वाले एचएसडीपर वैट की दरों को कम करने का भी अनुरोध किया है।
पत्तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्रालय मंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने कहा, अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर ईंधन की बढ़ती लागत अब हमारे स्थानीय रो-पैक्स और यात्री नौका संचालन को अव्यवहारिक बना रही है, इसलिए पोत और बंदरगाह से संबंधित शुल्क की छूट अगले 6 महीनों के लिए इस क्षेत्र को आवश्यक राहत प्रदान करेगी। हमने एमओपीएनजी से ईंधन की कीमतों में कमी पर विचार करने और वित्त मंत्रालय से संबंधित करों को कम करने का अनुरोध किया है ताकि वर्तमान परिस्थितियों में इस क्षेत्र को आवश्यक सहायता प्रदान की जा सके।
दीनदयाल पोर्ट अथॉरिटी द्वारा सागरमाला कार्यक्रम के तहत घोघा और हजीरा के बीच लागू की गई रो-पैक्स सेवाओं ने यात्रा के समय को 12 घंटे से घटाकर 4 घंटे कर दिया है। रो-पैक्स फेरी सेवा शुरू होने के बाद से 78,000 से अधिक वाहनों और 2.6 लाख से अधिक यात्रियों को लाने-ले जाने का काम कर चुकी है। इसी तरह महाराष्ट्र मैरीटाइम बोर्ड ने मुंबई-मांडवा मार्ग पर रो-पैक्स फेरी सेवा शुरू की। परियोजना के परिणामस्वरूप समुद्री मार्ग से 45 मिनट के मुकाबले लगभग 3 घंटे की सडक़ यात्रा की बचत हुई। 5.5 लाख से अधिक यात्रियों ने इस रो-पैक्स सेवा का लाभ उठाया है और इससे अधिक 1 लाख वाहनों को लाया-ले जाया गया है।

 

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