भारत सोमवार को मुंबई में चौथे वनडे मैच में मजबूत प्रदर्शन कर रही वेस्टइंडीज की टीम से भिड़ेगा, तो उसकी नजरें प्लेइंग इलेवन में ‘परफेक्ट’ संतुलन बनाने पर टिकी होंगी. भारतीय टीम शनिवार को पुणे में पांच विशेषज्ञ गेंदबाजों के साथ उतरी, लेकिन उसे हार का सामना करना पड़ा. वेस्टइंडीज के खिलाफ मौजूदा दौरे पर यह उसकी पहली हार है.सीरीज अब भी 1-1 से बराबर चल रही है, जबकि दो मैच खेले जाने बाकी हैं. विराट कोहली की टीम को अगर सीरीज में अजेय बढ़त बनानी है, तो क्रिकेट क्लब ऑफ इंडिया में सोमवार का मैच हर हाल में जीतना होगा. वेस्टइंडीज की टीम को पूरा श्रेय दिया जाना चाहिए जो टेस्ट सीरीज में लचर प्रदर्शन के बाद वापसी करने में सफल रही और मेजबान टीम को एकदिवसीय प्रारूप में कड़ी टक्कर दे रही है.मध्यक्रम के प्रदर्शन में निरंतरता की कमी और महेंद्र सिंह धोनी की बल्ले से खराब फॉर्म का खामियाजा भी भारत को भुगतना पड़ रहा है. भारत को इंग्लैंड में अगले साल होने वाले वनडे विश्व कप से पूर्व सिर्फ 15 वनडे मैच और खेलने हैं और ऐसे में यह सिर्फ सोमवार को होने वाली मैच की समस्या नहीं है. टी-20 टीम से बाहर किए जाने के बाद धोनी के पास अब फॉर्म में लौटने के लिए सीमित मौके बचे हैं. पुणे में अंबति रायडू (22) लय में आने में सफल रहे थे, लेकिन दाएं हाथ के इस बल्लेबाज को अगर चौथे नंबर पर अपनी जगह पक्की करनी है, तो लगातार अच्छा प्रदर्शन करना होगा.पिछले मैच में धोनी से ऊपर पांचवें नंबर पर बल्लेबाजी करने वाले ऋषभ पंत ने आक्रामक रुख दिखाया है, लेकिन अपनी पदार्पण वनडे सीरीज में उपयोगी पारी का उन्हें इंतजार है. चयनकर्ताओं ने अंतिम दो मैचों के लिए केदार जाधव को टीम में जगह दी है, जिससे भारत को मजबूती मिलेगी. हाल के समय में उनकी फिटनेस चिंता का विषय रही है, लेकिन देवधर ट्रॉफी में पैर की मांसपेशियों से उबरकर वापसी के बाद अपने पहले प्रतिस्पर्धी मैच में वह प्रभावी नजर आए.जाधव की आक्रामक बल्लेबाजी के अलावा उनकी ऑफ स्पिन गेंदबाजी भी प्रभावी साबित हो सकती है. सलामी बल्लेबाज शिखर धवन और रोहित शर्मा लगातार दो मैचों में विफल रहे हैं और टीम को उनसे बड़ी साझेदारी की उम्मीद है. मेजबान टीम के लिए हालांकि सबसे सकारात्मक पक्ष कप्तान कोहली का फॉर्म है, जिन्होंने पुणे में तीसरे वनडे में लगातार तीसरा शतक जड़ा और ऐसा करने वाले पहले भारतीय बने. प्रशंसकों को कोहली से एक और शतक की उम्मीद होगी, लेकिन कप्तान चाहेंगे कि उनकी टीम पिछले दो मैचों की तुलना में बेहतर प्रदर्शन करे. गेंदबाजी की बात करें, तो जसप्रीत बुमराह ने वापसी करते हुए शनिवार को तीसरे वनडे में चार विकेट चटकाए. भुवनेश्वर कुमार ने डेथ ओवरों में काफी रन लुटाए, लेकिन उनके वापसी करने की उम्मीद है. विरोधी टीम के बल्लेबाजों को रोकने में दोनों स्पिनरों युजवेंद्र चहल और कुलदीप यादव की भूमिका अहम होगी.वेस्टइंडीज की सबसे बड़ी उम्मीद विकेटकीपर बल्लेबाज शाई होप हैं, जिन्होंने विशाखापत्तनम में 123 और पुणे में 95 रनों की दो अहम पारियां खेलीं टीम को उनसे एक और बड़ी पारी की उम्मीद होगी और शिमरोन हेटमेयर से भी, जो तीसरे मैच में अच्छी शुरुआत को बड़ी पारी में बदलने में नाकाम रहे. पुणे मैच से पहले बाएं हाथ के बल्लेबाज हेटमेयर ने 106 और 94 रनों की पारियां खेली थीं. अनुभवी मार्लोन सैमुअल्स ने तीसरे वनडे में गेंद से अच्छा प्रदर्शन किया और तीन विकेट चटकाए, लेकिन उनका बल्ला अब तक खामोश रहा है. कप्तान जेसन होल्डर भी अपना योगदान देना चाहेंगे.
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