जयपुर । 48वीं जूनियर नेशनल कैरम चैंपियनशिप 10 फरवरी से 13 फरवरी तक तमिलनाडु के मदुरै शहर में होगी। यह प्रतियोगिता ऑल इंडिया कैरम फैडरेशन के द्वारा आयोजित की जा रही है और मदुरई जिला कैरम संगठन इसकी मेजबान है।
यह जानकारी देते हुए राजस्थान कैरम एसोसिएशन के अध्यक्ष सूरज खत्री ने बताया कि प्रतियोगिताएं लडक़े तथा लड़कियों के 18 वर्ष से कम उम्र तथा युवक एवं युवतियों के 21 वर्ष से कम उम्र के दो ग्रुपों में होगी। राजस्थान से दोनों ग्रुपों में टीमें भेजी जाएगी।
राजस्थान के सभी स्कूलों और कॉलेजों को निमंत्रित किया गया है कि वह इच्छुक छात्र एवं छात्राओं तथा युवकों को भेजें इसके लिए वे राजस्थान कैरम एसोसिएशन के महामंत्री फजल अहमद से संपर्क करने का कष्ट करें।
सलेक्शन ट्रायल 20 जनवरी से 25 जनवरी के बीच जयपुर में किया जाएगा। सूरज खत्री ने बताया कि इस प्रतियोगिता के दौरान 10 से 13 फरवरी 2024 के मध्य राष्ट्रीय स्तर के अंपायरों की परीक्षा भी आयोजित की जा रही है इसमें राजस्थान से चार प्रतिभागी भाग लेंगे।
नई दिल्ली । नेशनल स्पोर्ट्स अवॉर्ड सेरेमनी आज सुबह 11.00 बजे से राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू भवन में शुरू हुई। सबसे पहले द्रोणाचार्य अवॉर्ड दिए गए। राष्ट्रपति 2023 में शानदार प्रदर्शन करने वाले खिलाडिय़ों को अलग-अलग अवॉर्ड से सम्मानित करेंगी। देश की स्टार बैडमिंटन जोड़ी सात्विक साईराज और चिराग शेट्टी को मेजर ध्यान चंद खेल रत्न अवॉर्ड मिलेगा। वहीं, मोहम्मद शमी समेत 26 खिलाडिय़ों को अर्जुन अवॉर्ड से नवाजा जा रहा है। अर्जुन अवॉर्ड विनर शमी ने क्रिकेट विश्व कप 2023 में बहुत ही शानदार प्रदर्शन किया था। जहां भारत फाइनल में ऑस्ट्रेलिया से हारकर उपविजेता रहा। टूर्नामेंट के शुरुआती 4 मैच नहीं खेलने के बावजूद शमी 24 विकेट लेकर टूर्नामेंट टॉप विकेट टेकर रहे।
गणेश प्रभाकरन (मल्लखंभ), महावीर सैनी (पैरा एथलेटिक्स), ललित कुमार (कुश्ती), आरबी रमेश (शतरंज) और शिवेंद्र सिंह (हॉकी) को कोचिंग का सबसे बड़ा सम्मान द्रोणाचार्य अवॉर्ड दिया गया।
वहीं बैडमिंटन स्टार जोड़ी चिराग और सात्विक के लिए 2023 साल बहुुत ही यादगार रहा। उन्होंने एशियन गेम्स में गोल्ड जीता (एशियन गेम्स के बैडमिंटन इवेंट में भारत का पहला गोल्ड) और एशियन चैंपियनशिप का खिताब जीता। इस जोड़ी ने इंडोनेशिया सुपर 1000, कोरिया सुपर 500 और स्विस सुपर 300 के खिताब भी जीते। सात्विक-चिराग वर्ल्ड चैंपियनशिप के ब्रॉन्ज मेडल विनर हैं और 2022 के कॉमनवेल्थ गेम्स में भी गोल्ड जीतकर लौटे थे। दोनों को मेजर ध्यानचंद खेल रत्न अवॉर्ड मिलेगा, जो भारत में खेलों का सवोर्च सम्मान है।
नई दिल्ली । पूर्व भारतीय क्रिकेटर आकाश चोपड़ा ने जम्मू-कश्मीर एक्सप्रेस के नाम से मशहूर भारतीय तेज गेंदबाज उमरान मलिक की अनदेखी पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि उमरान को भारतीय मुख्य टीम तो छोडि़ए इंडिया ए में भी शामिल नहीं किया जा रहा है।
बेन स्टोक्स की टीम के खिलाफ 5 मैचों की टेस्ट श्रृंखला से पहले इंग्लैंड लायंस का सामना करने के लिए निर्धारित भारत ए टीम में भी उमरान को जगह नहीं मिली।
आकाश चोपड़ा ने अपने यूट्यूब चैनल पर अपने विचार साझा करते हुए तेज गेंदबाज के अचानक गायब होने पर सवाल उठाए, जो पहले सफेद गेंद क्रिकेट में भारत की योजनाओं में एक प्रमुख खिलाड़ी थे।
चोपड़ा ने कहा, कुछ समय पहले तक उमरान मलिक हर जगह थे। हम उन्हें वेस्टइंडीज भी ले गए और ऐसा लग रहा था कि वह विश्व कप टीम में भी हो सकते हैं, लेकिन अब वह किसी भी टीम में नहीं हैं। यहां तक कि इंडिया ए के लिए भी उन्हें नहीं चुना गया।
भारतीय जर्सी में उमरान की आखिरी उपस्थिति वेस्टइंडीज के दौरे के दौरान थी, जहां उन्हें एक चुनौतीपूर्ण मुकाबले का सामना करना पड़ा था।
सनराइजर्स हैदराबाद के गेंदबाजी कोच मुथैया मुरलीधरन सहित आलोचकों ने एक गेंदबाज के रूप में अपनी प्रभावशीलता बढ़ाने के लिए तेज गेंदबाज को सिर्फ तेज गति नहीं बल्कि अतिरिक्त कौशल विकसित करने की सलाह दी थी।
इंडियन प्रीमियर लीग के 2022 संस्करण में उमरान मलिक को लाइमलाइट मिली। जहां उन्होंने 13.41 की प्रभावशाली स्ट्राइक-रेट से 22 विकेट लिए। उनकी तीव्र गति और बल्लेबाजों को परेशान करने की क्षमता ने उन्हें प्रशंसा दिलाई।
हालांकि, बाद के 2023 सीजऩ में पेसर के लिए सीमित अवसर देखे गए। उन्होंने केवल 8 मैचों में भाग लिया और 10.85 की इकॉनमी से 5 विकेट हासिल किए।
चोपड़ा ने उमरान का बचाव करते हुए इस बात पर जोर दिया कि गेंदबाज के पास भारतीय टीम के साथ जुडऩे के लिए बहुत कम मौके थे। तीन महीने के भीतर ऐसा क्या हुआ कि एक आदमी पहले भारतीय टीम के लिए चुना जाता है, उसे वहां बहुत कम मौके मिलते हैं और फिर पूरी तरह से गायब हो जाता है? हमें यह भी नहीं पता कि उमरान मलिक कहां है। वह वहां क्यों नहीं है? हमें जानना चाहिए ऐसा क्यों हो रहा है।
नवी मुंबई । दूसरे टी20 मैच में ऑस्ट्रेलिया से छह विकेट से हार झेलने के बाद भारत की कप्तान हरमनप्रीत कौर ने स्वीकार किया कि उनकी टीम ने बल्ले से जो स्कोर बनाया वह पर्याप्त नहीं था, लेकिन उन्होंने भारतीय गेंदबाजों की सराहना की।
डीवाई पाटिल स्टेडियम में भारत के गेंदबाजों के आगे ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों ने संघर्ष किया, लेकिन मात्र 131 रन का बचाव करना आसान नहीं था। ऑस्ट्रेलिया ने 19वें ओवर में यह लक्ष्य हासिल किया।
मैच के बाद हरमनप्रीत ने कहा, मुझे लगता है कि स्कोर बोर्ड पर पर्याप्त नहीं था, लेकिन हमारे गेंदबाजों ने वास्तव में अच्छा प्रदर्शन किया। हम इसे 19वें ओवर तक ले गए, यह बड़ी बात है। पहले मैच में हमने मानक स्थापित किए। इन मैचों में हमने अपनी फील्डिंग भी मजबूत की।
हरमनप्रीत ने यह भी उम्मीद जताई कि ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मैचों से युवाओं को बेहतर प्रदर्शन मिलेगा।
उन्होंने कहा, हमें मौके मिल रहे थे, हम विकेट ले रहे थे और यह अच्छी बात है। हालांकि स्कोर कम होने की वजह से हम जीत नहीं पाए।
एलिस पैरी का यह 300वां अंतर्राष्ट्रीय मैच भी था। ऑस्ट्रेलिया की कप्तान एलिसा हीली श्रृंखला के शुरुआती मैच में हारने के बाद अपनी टीम की जीत से खुश थी और उन्होंने चार ओवरों में 2-27 के स्पैल के लिए तेज गेंदबाज किम गर्थ की सराहना की।
दोनों टीमों के बीच तीन मैचों की सीरीज का निर्णयाक मुकाबाल मंगवलार को डीवाई पाटिल स्टेडियम में खेला जाएगा।
मुंबई । पुनेरी पल्टन ने प्रो कबड्डी लीग सीजन 10 के मैच में रोमांचक मुकाबले में तमिल थलाइवाज को 29-26 से हरा दिया। मोहम्मदरेज़ा चियानेह शादलौई (5 टैकल पॉइंट और 3 रेड पॉइंट) और गौरव खत्री (6 टैकल पॉइंट) पुनेरी पल्टन के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी थे, जबकि तमिल थलाइवाज के कप्तान सागर (7 टैकल पॉइंट) उनके स्टार परफॉर्मर थे।
शुरुआती 20 मिनट में दोनों टीमों के बीच कांटे की टक्कर देखने को मिली। नरेंद्र ने मैच की शुरुआत में सुपर रेड मारकर तमिल थलाइवाज को एक स्वप्निल शुरुआत दी और पुनेरी पलटन को तुरंत बैकफुट पर जाने के लिए मजबूर होना पड़ा। जैसे-जैसे हाफ आगे बढ़ा, दोनों टीमों ने बढ़त बना ली और कोई भी कार्यवाही पर नियंत्रण नहीं कर पाई, क्योंकि दोनों ने रक्षात्मक रुख अपनाया।
रणनीतिक रूप से पहला हाफ पुनेरी पल्टन के 12-11 से आगे रहने के साथ समाप्त हुआ। यह पूरे सीजऩ में टीम द्वारा बनाए गए अंकों की सबसे कम संख्या थी।
तमिल थलाइवाज ने हाफ की शुरुआत सुपर टैकल से की, जब सागर और हिमांशु ने मोहित गोयत को फंसाया। हालाँकि, इसने पुनेरी पल्टन को आगे बढऩे से नहीं रोका, क्योंकि असलम इनामदार ने सागर को हराकर गेम का पहला ऑल आउट कर दिया। 24वें मिनट में टेबल टॉपर्स ने 17-16 की मामूली बढ़त बना ली।
अगले ही रेड में शादलौई सुपर रेड से बच निकले, क्योंकि उन्होंने दो डिफेंडरों को टैग किया और एक बोनस अंक हासिल किया। नरेंद्र बड़े अंक हासिल करने में असमर्थ रहे, तमिल थलाइवाज ने अंकों के लिए अपने डिफेंस पर भरोसा किया और कप्तान सागर के पंकज मोहिते पर किए गए बेहतरीन टैकल से उन्होंने हाई 5 पूरा किया। इसके बाद शादलूई की बारी थी ऐसा करने की क्योंकि उन्होंने नरेंद्र को एक चट्टान से रोका। -28वें मिनट में अपना 5वां टैकल प्वाइंट हासिल करने के लिए मजबूत पकड़ बनाई।
तमिल थलाइवाज ने खेल के अंतिम चरण में शानदार वापसी की। एम. अभिषेक और सागर के दो सुपर टैकल से 36वें मिनट में तमिल थलाइवाज सिर्फ 3 अंक से पिछड़ गया। और फिर 38वें मिनट में नितेश कुमार के तीसरे सुपर टैकल ने घाटे को केवल 1 अंक तक कम कर दिया।
यह सब आखिरी रेड तक सीमित हो गया, जहां तमिल थलाइवाज 3 खिलाडिय़ों के साथ खेल रहे थे और पुनेरी पलटन के पास करो या मरो वाली रेड थी। असलम ने पीछा करते हुए रेड की और नितेश पर टच का दावा किया, लेकिन ऑन-फील्ड अंपायरों ने तमिल थलाइवाज के पक्ष में फैसला सुनाया और उन्हें 2 अंक दिए। इसका मतलब था कि स्कोर 28-28 से बराबर था। हालाँकि, पुनेरी पलटन ने फैसले की समीक्षा की और टीवी अंपायर ने फैसले को पलट दिया। असलम और टीम ने लगातार 7वीं जीत हासिल करके रोमांचक मैच खत्म किया।
भोपाल । क्रिकेट के दीवानों के लिए आईपीएल सबसे ज्यादा लुभावना क्रिकेट टूर्नामेट होता है। इसी तर्ज पर दिव्यांग क्रिकेटरों के लिए तीन दिवसीय दिव्यांग प्रीमियर लीग (डीपीएल) का आयोजन मध्य प्रदेश के सतना जिले के मैहर में होने जा रहा है।
इसमें राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय खिलाडिय़ों का हुनर देखने को मिलेगा। सतना के मैहर के उस्ताद अलाउदीदन स्टेडियम में आठ से 10 जनवरी तक चलने वाले डीपीएल टूर्नामेंट में चार प्रमुख टीमें इंदौर, भोपाल, रीवा और ग्वालियर हैं।
दिव्यांग क्रिकेट एसोसिएशन, मध्यप्रदेश और मधुरिमा सेवा संस्कार संस्थान के इस संयुक्त आयोजन में हिस्सा लेने वाली टीमों में देश-विदेश के नामचीन दिव्यांग क्रिकेट खिलाड़ी भी हैं। इनमें प्रमुख खिलाड़ी चिराग गांधी, कैलाश प्रसाद, बृजेश द्विवेदी, सूरज मनकेले, जे.पी. सिंह, राजू कर्मकार, माखन सिंह राजपूत, अंकित सिंह बघेल, रामबरन यादव, निखिल मेवाड़ा, सैयद शाह अजीज और नियाज खान हैं।
इस आयोजन की हिस्सेदार और मधुरिमा सेवा संस्कार फाउंडेशन की प्रमुख डॉ. स्वप्ना वर्मा का कहना है कि दिव्यांग वे लोग हैं जिनमें भले ही कुछ शारीरिक कमी हो मगर उनको ईश्वर ने अतिरिक्त शक्ति दी हुई होती है। हर दिव्यांग में यही भाव जगाने के मकसद से डीपीएल टूर्नामेंट आयोजित किया जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी विकलांग की जगह दिव्यांग के प्रयोग का आह्वान करते हुए कहा था, आंखों से तो हमें लगता है कि शायद विकलांग है मगर अनुभव से लगता है कि उनके पास अतिरिक्त शक्ति है।
इस टूर्नामेंट में हिस्सा ले रही टीमों में विजेता व उपविजेता के अलावा सभी टीमों को नकद पुरस्कार दिए जाएंगे। खिलाडिय़ों के अलावा दर्शकों के लिए भी पुरस्कार योजना तय की गई है।